ओसाका: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को जी20 सम्मेलन के दौरान आतंकवाद का मुद्दा जोर-शोर से उठाया। पीएम मोदी ने इस दौरान अन्तरराष्ट्रीय समुदाय से आतंकवाद और कट्टरपंथ को समर्थन देने वाले सभी माध्यमों पर रोक लगाने की अपील की। आतंकवाद को मानवता सबसे बड़ा दुश्मन बताते हुए पीएम मोदी ने कहा कि इससे ना सिर्फ मासूम लोगों की जान जाती है, इसके साथ ही यह आर्थिक विकास पर भी नकारात्मक असर डालता है और इससे सांप्रदायिक सद्भाव भी बिगड़ता है। जी20 सम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने अमेरिका, दक्षिण कोरिया, सऊदी अरब और जर्मनी के नेताओं के साथ द्विपक्षीय मुलाकात भी की।

जी20 सम्मेलन के इतर प्रधानमंत्री मोदी ने ब्रिक्स देशों ब्राजील, रुस, चीन और दक्षिण अफ्रीका के नेताओं के साथ भी अनौपचारिक मुलाकात की। इस मुलाकात में भी पीएम मोदी ने आतंकवाद का मुद्दा उठाया और इस पर रोक लगाने के लिए ठोस कदम उठाने की बात कही। ब्रिक्स देशों ने आतंकवाद के अलावा भ्रष्टाचार और गैरकानूनी धन के प्रवाह को रोकने के लिए भी आपसी सहयोग बढ़ाने की बात की।

पीएम नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को सऊदी अरब के युवराज मोहम्मद बिल सलमान से भी मुलाकात की। दोनों नेताओं ने रणनीतिक साझेदारी, ऊर्जा, व्यापार और आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में साझेदारी के मुद्दे पर बातचीत की। आतंकवाद को फंडिंग रोकने के मुद्दे पर भी दोनों देशों के बीच बातचीत हुई। इसके अलावा भारतीय प्रधानमंत्री ने रुस और चीन के शीर्ष नेताओं के साथ भी मुलाकात की। भारत ने रुस और चीन से आतंकवाद के खिलाफ ग्लोबल कॉन्फ्रेंस बनाने के प्रस्ताव पर समर्थन मांगा।

पीएम मोदी ने जी20 सम्मेलन से अलग अमेरिका और जापान के नेताओं से भी मुलाकात की। अमेरिका के साथ भारत ने व्यापार, रक्षा और 5जी टेक्नोलॉजी जैसे मुद्दों पर बात की। शनिवार को पीएम मोदी ब्राजील के राष्ट्रपति, तुर्की के राष्ट्रपति और फ्रांस के राष्ट्रपति से भी मुलाकात कर सकते हैं।