लखनऊ:
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि देश अपनी आजादी का अमृत महोत्सव मना रहा है। भारत दुनिया का सबसे बड़ा लोकतन्त्र है। लोकतन्त्र की जड़ें भारत में गहराई से जुड़ी हैं। भारत को प्राचीन काल से लोकतन्त्र की जननी कहा जाता है।

मुख्यमंत्री आज यहां अपने सरकारी आवास पर भारतीय सांस्कृतिक सम्बन्ध परिषद, विदेश मंत्रालय, भारत सरकार के जेन नेक्स्ट डेमोक्रेसी नेटवर्क प्रोग्राम में सम्मिलित हो रहे 07 देशों (बोत्सवाना, हंगरी, जापान, कनाडा, इण्डोनेशिया, अर्जेन्टीना तथा लिथुआनिया) के प्रतिनिधियों के साथ आहूत बैठक में अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। प्रदेश की जनता व राज्य सरकार की ओर से प्रतिनिधियों का स्वागत करते हुए मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आज यहां लोकतन्त्र के प्रति समर्पित व सद्भावना रखने वाले 07 देशों के यंग लीडर्स के साथ संवाद करने का अवसर प्राप्त हो रहा है।

मुख्यमंत्री ने प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि यहां उपस्थित सभी प्रतिनिधि दुनिया की प्राचीन नगरी काशी का भ्रमण कर यहां आये हैं। काशी भारत की प्राचीनतम आध्यात्मिक एवं सांस्कृतिक नगरी है। सृष्टि के आदिकाल से इस नगरी की पहचान है। भारत ने दुनिया की सबसे प्राचीन नगरी काशी के साथ ही प्राचीन ग्रन्थ ऋग्वेद भी दुनिया को दिया है।

मुख्यमंत्री जी ने कहा कि उत्तर प्रदेश में 25 करोड़ की आबादी निवास करती है। उत्तर प्रदेश भारत की आध्यात्मिक व सांस्कृतिक व्यवस्था का प्रतिनिधित्व करता है। यह कई मायनों में महत्वपूर्ण है। भारत के कुल खाद्यान्न उत्पादन में प्रदेश की महत्वपूर्ण भूमिका है। देश की 11 प्रतिशत कृषि योग्य भूमि के साथ देश के कुल खाद्यान्न उत्पादन का 20 प्रतिशत खाद्यान्न का उत्पादन प्रदेश में होता है। उत्तर प्रदेश देश में गन्ना एवं दुग्ध उत्पादन में भी प्रथम स्थान पर है। विगत कुछ वर्षों में राज्य में हुए इन्फ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेण्ट सेे देश व प्रदेश में एक नया विश्वास जगा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि जापान के यंग लीडर्स भी जेन नेक्स्ट डेमोक्रेसी नेटवर्क प्रोग्राम के तहत आज यहां आये हैं। भारत व जापान के बीच सांस्कृतिक सम्बन्ध प्राचीन काल से हैं। भगवान बुद्ध की पवित्र ज्ञान प्राप्ति की भूमि एवं महापरिनिर्वाण स्थल भारत में ही है। बौद्ध धर्म भारत से जापान गया था।

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज यहां इण्डोनेशिया के यंग लीडर्स आये हैं। इण्डोनेशिया की रामलीला पूरी दुनिया में प्रसिद्ध है। प्रदेश सरकार द्वारा प्रतिवर्ष भगवान श्रीराम की जन्मभूमि अयोध्या में इण्डोनेशिया की रामलीला को आमंत्रित किया जाता है। जनपद अयोध्या में इण्डोनेशिया के कलाकारों द्वारा प्रस्तुत रामलीला लोगों का मन मोह लेती है।