टीम इंस्टेंटखबर
भारत में तैयार हुई भारत बायोटेक की कोरोना वैक्सीन कोवैक्सीन को जर्मनी ने मंजूरी दे दी है. पिछले लंबे समय से इस मंजूरी का इंतजार किया जा रहा था. जिसके बाद अब उन तमाम लोगों को बड़ी राहत मिलने जा रही है, जो जर्मनी की यात्रा करते हैं. यात्रा करने वाले भारतीयों को अब 1 जून से वैक्सीनेशन सर्टिफिकेट देने की जरूरत नहीं होगी. कोवैक्सीन को ये मंजूरी ट्रैवल के लिए दी गई है.

बता दें कि जिस भी वैक्सीन को कोई देश मंजूरी नहीं देता है, उसे लगाने वाले यात्रियों को कई नियमों का पालन करना होता है. जिसमें कोविड वैक्सीनेशन सर्टिफिकेट, कोरोना टेस्ट, क्वारंटीन जैसे नियम शामिल हैं. जिससे लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ता है. कोवैक्सीन लेने वाले लोगों को भी जर्मनी में ऐसी ही दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था, लेकिन अब मंजूरी के बाद लोगों के लिए ये एक बड़ी राहत है.

इससे पहले अमेरिकी फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन (एफडीए) ने भारत बायोटेक के कोविड-19 वैक्सीन ‘कोवैक्सीन’ के तीन में से दूसरे चरण के क्लिनिकल ट्रायल पर लगाई गई रोक हटा ली है. अमेरिका और कनाडा में इस वैक्सीन के लिए भारत बायोटेक के साझेदार ओकुजेन इंक की तरफ से जारी एक बयान में यह जानकारी दी गई थी. बयान में कहा गया था कि, ‘‘हम काफी खुश हैं कि हम कोवैक्सीन के लिए अपने क्लिनिकल ट्रायल पर आगे बढ़ सकते हैं. हमारा मानना है कि एक अतिरिक्त, अलग तरह का टीका उपलब्ध कराने की जरूरत प्राथमिकता बनी हुई है.

परीक्षण को रोकने के लिए अप्रैल में लिया गया एफडीए का फैसला परीक्षणों में शामिल लोगों को टीके की खुराक देने में अस्थायी रोक को स्वैच्छिक रूप से लागू करने संबंधी अमेरिकी कंपनी के फैसले पर आधारित था. भारत में कोवैक्सीन की उत्पादन इकाइयों पर विश्व स्वास्थ्य संगठन की टिप्पणी के बाद यह फैसला लिया गया था.