मुजफ्फरनगर- देवबंद मार्ग को 4-लेन करने के लिए उपशा एवं विकासकर्ता के बीच कंसेशन अनुबंध हस्ताक्षरित

लखनऊ: मुजफ्फरनगर-सहारनपुर वाया देवबंद मार्ग को 4-लेन विद पेव्ड शोल्डर स्तर पर विकसित करने के लिए उत्तर प्रदेश राज्य राजमार्ग प्राधिकरण (उपशा) तथा चयनित निजी विकासकर्ता के बीच आज यहां कंसेशन अनुबंध हस्ताक्षरित किया गया। मुख्य सचिव आलोक रंजन की उपस्थिति में उपशा के मुख्य कार्यपालक अधिकारी नवनीत सहगल एवं निजी विकासकर्ता मेसर्स एप्को-चेतक (जे0वी0) द्वारा प्रोमोटेड कम्पनी-देवबंद हाईवेज़ प्रा0लि0 के प्रतिनिधि द्वारा कंसेशन अनुबंध पर हस्ताक्षर किए गए। 

मुख्य कार्यपालक अधिकारी ने इस मौके पर बताया कि मुजफ्फरनगर-सहारनपुर वाया देवबंद मार्ग (राज्य राजमार्ग संख्या-59) की लम्बाई 52.950 कि0मी0 है। इसे सार्वजनिक-निजी-सहभागिता पद्धति (पी0पी0पी0, बी0ओ0टी0) पर विकसित किया जाएगा। परियोजना की लागत 752.88 करोड़ रुपए है। निर्माण के लिए 301.15 करोड़ रुपए की ग्राण्ट (वी0जी0एफ0) अनुमन्य की गई है, जिसका आधा अंश राज्य सरकार एवं शेष भाग केन्द्र सरकार द्वारा दिया जाना है। 

श्री सहगल के अनुसार परियोजना को पूरा करने के लिए 2 वर्ष का समय निर्धारित किया गया है। मार्ग का निर्माण एवं टोल वसूली की कुल अवधि (कंसेशन अवधि) 23 वर्ष है। मुजफ्फरनगर-सहारनपुर वाया देवबंद मार्ग के चैड़ीकरण के लिए पर्याप्त भूमि उपलब्ध होने के कारण भूमि अधिग्रहण की आवश्यकता नहीं होगी। उन्होंने बताया कि इस मार्ग पर स्थित देवबंद कस्बे में 4 कि0मी0 लम्बे फ्लाईओवर का निर्माण भी प्रस्तावित है, जिससे कस्बे में यातायात की समस्या का निदान हो जाएगा। आबादी भाग में कुल 14.65 कि0मी0 सर्विस मार्ग का प्राविधान भी किया गया है। 

मुख्य कार्यपालक अधिकारी ने यह जानकारी भी दी कि मार्ग के विकास से जनपद मुजफ्फरनगर के रामपुर, रोहना, मलीरा तथा जनपद सहारनपुर के देवबंद, अलीपुरा, नागल, कोल्की तथा गागलहेड़ी की जनता लाभान्वित होगी और लोगों के लिए आवागमन सुविधाजनक बनेगा। उन्होंने बताया कि परियोजना के तहत 01 दीर्घ सेतु, 03 लघु सेतु, 01 ट्रक ले बाई तथा 09 बस शेल्टर निर्मित किए जाएंगे। इसके अलावा कि0मी0 संख्या 8.60 पर एक टोल प्लाजा का निर्माण भी किया जाएगा। 

इस अवसर पर उपशा के सदस्य (प्रशासन) एवं सूचना निदेशक आशुतोष निरंजन सहित अन्य अधिकारीगण मौजूद थे।