सुलतानपुर। जनपद में कुड़वार व गोसाईगंज थाने में वर्षो पूर्व बड़े पैमाने
पर हो रहे अवैध खनन के बाद थाना कूरेभार के धनपतगंज में बड़े पैमाने पर हो
रही अवैध खनन ने प्रशासनिक अधिकारियो की पोल खोल दी है। विगत कई वर्षो से
संचालित यह गोरखधंधा आखिर किसके इशारे पर चल रहा था जिसकी जानकारी किसी
को नही थी अथवा जानकर भी अनजान बना प्रशासन, आखिर क्यों। ग्रामीणों के
जेहन में खौलता बड़ा सवाल है।

थाना कूरेभार अंतर्गत राघवपुर गांव में वर्षो से हो रहे अवैध खनन से
अनजान बने प्रशासन की कुम्भकर्णी नीद बुधवार को दोपहर थाना क्षेत्र के ही
सेवरा निवासी बिन्ध्या दीन की मौत के तीन दिन बाद भी नही टूट रही है।
अवैध खनन में संलिप्त खनन माफियाओ तक पहुचने में नाकाम जिला प्रशासन ठोस
कार्यवाही के बजाय गरीब बिन्धदीन की लाश का सौदा करने में जुटा है।
हेक्टेयर से अधिक भूमि में कई वर्षो से हो रहे अवैध खनन की जानकारी
प्रशासन को है अथवा मोटी रकम के चक्कर में जानबूझकर जिम्मेदार अधिकारी
अनजान बने है। इसको लेकर जहाँ ग्रामीणों में चर्चाओ का बाजार गर्म है
वहीँ जिम्मेदार लोग बिन्ध्या दीन की मौत को ही हजम करने के चक्कर में लगे
है। धनपतगंज की यह अवैध खनन बानगी भर है इसके अलावा चन्दौर मझवारा सेवरा
केवटली समेत अनेक स्थानों पर बेखौफ अवैध खनन वर्षो से संचालित है। जिसमे
कई एक मजदूरो की इसी तरह से जाने तो गयी परन्तु सेटिंग गेटिंग के चलते
मामला आजतक सतह पर नही आ सका। इतना बड़ा मामला प्रकाश में आने के बाद भी
जिम्मेदारों की कार्यशैली सवालो के घेरे में है वही शासन प्रशासन की
नीतियां व निर्देश भी इनके लिये मायने नही रखता है। विभिन्न जनपदों में
अनेक रसूखदारो की खनन मामले में संलिप्तता के बाद फंसी गर्दन भी इन खनन
माफियाओ को कमजोर नही कर पायी है।

पत्रकार की भी हो चुकी है हत्या

अवैध खनन को लेकर पिछले वर्ष पत्रकार करुण मिश्रा की गोली मारकर हत्या कर
दी गई थी। खुलासे के समय आई.जी जोन ने साफ निर्देश दिया था कि किसी भी
हाल में खनन नही होना चाहिए। कुछ दिनों तक तो खनन रुका रहा लेकिन इस बीच
खनन माफिया कुछ ज्यादा ही सक्रिय हो गए है।

धनपतगंज क्षेत्र में आखिर इतने बड़े खनन का जिम्मेदार कौन है किसके इशारे
पर मिट्टी ट्रको में लोड करवा गैर जनपद भेजी जाती है। शासन प्रशासन के
बीच मध्यस्त बनकर सत्ताधारी रसूखदार की संलिप्तता से इंकार नही किया जा
सकता है। मजदूर और ट्रैक्टर मालिक एक छोटी कड़ी है जो मेहनत मजदूरी कर
किसी तरह अपने परिवार का पालन पोषण कर रहे है। प्रशासन को तो तलाशने की
जरूरत उस खनन माफिया की है जिसके इशारे पर धनपतगंज ही नही जनपद के कई
थाना क्षेत्रो समेत कई जनपदों तक भी इनका जाल है। प्रशासन इन पर अंकुश
लगा इस अवैध गोरखधंधे को बन्द करवा पाता है अथवा खनन माफियाओ के साथ साठ
गांठ कर खनन की सुरक्षा करते हुये अपनी आमदनी का मजबूत जरिया कायम रखता
है यह ग्रामीणों के लिये यक्ष प्रश्न बना है।

बोले एसडीएम

इस बाबत उपजिलाधिकारी बल्दीराय चन्द्रशेखर मिश्र ने बताया कि मामले की
जाँच की जा रही है संलिप्त खनन माफियाओ पर कड़ी कार्यवाही होगी।