नई दिल्ली: वन रैंक, वन पेंशन के मुद्दे पर कथित तौर पर आत्महत्या करने वाले एक पूर्व सैनिक रामकिशन ग्रेवाल के परिवार के सदस्यों से मिलने के बाद कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी को दिल्ली पुलिस ने एक बार फिर हिरासत में ले लिया है. उन्हें थाने ले जाया गया है. इससे पहले राहुल गांधी और दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया को आरएमएल अस्पताल में प्रवेश करने की कोशिश करते हुए हिरासत में लिया गया, जब वे ग्रेवाल के परिवार से मिलने की कोशिश कर रहे थे.

कांग्रेस उपाध्यक्ष को अस्पताल परिसर में प्रवेश की अनुमति नहीं दी गई. जब उन्होंने बार-बार प्रवेश का प्रयास किया, तो भारी संख्या में तैनात सुरक्षाकर्मियों ने उन्हें रोकने का प्रयास किया, जिस पर राहुल की तीखी प्रतिक्रिया आई. राहुल ने संवाददाताओं से कहा कि क्या लोकतंत्र इस तरह से काम करता है.

वरिष्ठ पुलिस अधिकारी एमके मीणा ने कहा कि वे स्वास्थ्य सेवाओं में अवरोध पैदा नहीं होने देंगे. उन्होंने कहा, 'हम दिल्ली के अस्पतालों में किसी तरह की राजनीति नहीं होने देंगे. लोकतंत्र का मतलब स्वास्थ्य सेवाओं को बाधा पहुंचाना नहीं है. राहुल गांधी को मंदिर मार्ग थाने में हिरासत में रखा गया है.' हालांकि बाद में राहुल को रिहा कर दिया गया था. इससे पहले सिसोदिया ने भी अस्पताल परिसर में प्रवेश किया और मृतक के परिजनों से मिलने की कोशिश की. उन्हें भी पुलिस ने हिरासत में ले लिया.

परिजनों के मुताबिक, मंगलवार दोपहर रामकिशन अपने साथियों के साथ रक्षामंत्री से मिलने जा रहे थे, लेकिन रास्ते में ही रामकिशन ने ज़हर खा लिया. परिजनों के मुताबिक, जो ज्ञापन उनके पिता अपनी मांगों को लेकर रक्षामंत्री को देने जा रहे थे उसी पर उन्होंने सुसाइड नोट लिखकर जहर खा लिया. रामकिशन ने मरने से पहले एक नोट भी लिखा, जिसमे उन्होंने लिखा :- मैं मेरे देश के लिए, मेरी मातृभूमि के लिए और मेरे देश के वीर जवानों के लिए अपने प्राणों को न्योछावर करने जा रहा हूं.