लखनऊ:
पांच बार की चैंपियन ऑस्ट्रेलिया के लिए वर्ल्ड कप 2023 की खराब शुरुआत, बुरे सपने में बदलती जा रही है. पैट कमिंस की कप्तानी वाली ऑस्ट्रेलियाई टीम को वर्ल्ड कप के इतिहास की अपनी सबसे शर्मनाक हार का सामना करना पड़ा है. लखनऊ में गुरुवार को साउथ अफ्रीका ने बिल्कुल एकतरफा अंदाज में अपने पुराने प्रतिद्वंद्वी ऑस्ट्रेलिया को 134 रनों के बड़े अंतर से रौंद दिया. इसके साथ ही साउथ अफ्रीका ने शानदार शुरुआत को जारी रखते हुए वर्ल्ड कप में अपना दूसरा मैच जीता, वहीं ऑस्ट्रेलिया को लगातार दूसरी हार का सामना करना पड़ा. साउथ अफ्रीका का जीत के स्टार क्विंटन डिकॉक और कगिसो रबाडा रहे.

टूर्नामेंट शुरू होने से पहले साउथ अफ्रीका ने वनडे सीरीज में ऑस्ट्रेलिया को लगातार तीन मैचों में हराया था और वर्ल्ड कप में भी उसे जारी रखा है. पहली बार लखनऊ में वर्ल्ड कप का कोई मैच खेला गया और दो धाकड़ टीमें एक्शन के लिए मौजूद थीं. अटल बिहारी वाजपेयी एकाना स्टेडियम में इस मुकाबले के लिए भीड़ भी काफी जुटी थी लेकिन शायद ही किसी ने उम्मीद की होगी कि मुकाबला ऐसा एकतरफा रहेगा, वो भी साउथ अफ्रीका के पक्ष में, जिसका वर्ल्ड कप में ऑस्ट्रेलिया के सामने रिकॉर्ड बहुत ज्यादा अच्छा नहीं है लेकिन ऐसा हुआ. इसमें साउथ अफ्रीका की दमदार बैटिंग और कमाल की गेंदबाजी के अलावा ऑस्ट्रेलिया की खराब फील्डिंग का भी योगदान रहा.

वर्ल्ड कप के बाद वनडे क्रिकेट से संन्यास का ऐलान कर चुके साउथ अफ्रीकी विकेटकीपर-बल्लेबाज ने पहले मैच से ही अपना विस्फोटक अंदाज अपना दिया था और ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ भी उसे जारी रखा. डिकॉक ने लगातार दूसरे मैच में शतक जमाकर बड़े स्कोर की नींव रखी. इस बार उन्हें शुरुआत में कप्तान टेम्बा बवूमा का भी साथ मिला, जिन्होंने 35 रन बनाए और 108 रन की साझेदारी की. ऑस्ट्रेलिया ने बवूमा पर सबसे ज्यादा मेहरबानी दिखाई और 3 बार उनके कैच छोड़े.

डिकॉक (109) एक बार फिर शतक के बाद आउट हो गए, लेकिन एडन मार्करम, हेनरिख क्लासन (29) और निचले क्रम में मार्को यानसन (26) ने फिर से अच्छा योगदान दिया. इन्हें भी ऑस्ट्रेलिया की खराब फील्डिंग का फायदा मिला. मार्करम का कैच तो सिर्फ 1 रन पर कप्तान पैट कमिंस ने अपनी गेंद पर ही छोड़ा और फिर वो 56 रन बनाकर आउट हुए. वहीं 49वें ओवर में भी दो बार कैच छूटे. कुल मिलाकर ऑस्ट्रेलिया ने 6 मौके गंवाए और फायदा उठाते हुए साउथ अफ्रीका ने 312 रन बनाए. खराब फील्डिंग के बीच ग्लेन मैक्सवेल ने अपनी स्पिन से कमाल किया और 10 ओवरों में सिर्फ 34 रन देकर 2 विकेट हासिल किए.

ऑस्ट्रेलिया को इस वर्ल्ड कप में मिचेल मार्श से बड़ी उम्मीद हैं, जो टूर्नामेंट शुरू होने से पहले ओपनिंग में विस्फोटक बल्लेबाजी कर रहे थे. वर्ल्ड कप में शुरुआत उनकी अभी तक अच्छी नहीं रही. भारत के बाद साउथ अफ्रीका के खिलाफ भी उनका बल्ला नहीं चला. इस बार तो डेविड वॉर्नर भी कुछ नहीं कर सके. लुंगी एनगिडी (1/18), यानसन (2/54) और कगिसो रबाडा (3/33) ने स्विंग और सीम गेंदबाजी का ऐसा नजारा पेश किया, जिसका कोई जवाब ऑस्ट्रेलिया के पास नहीं था. सिर्फ 70 रन तक उसके 6 विकेट गिर गए थे.

रबाडा ने तो लगातार दो ओवरों में स्टीव स्मिथ और जॉश इंग्लिस के विकेट ले लिये थे, जबकि स्पिनर केशव महाराज (2/30) ने मैक्सवेल को अपनी ही गेंद पर लपकते हुए ऑस्ट्रेलिया की उम्मीदों को झटका दिया. रबाडा ने ही 18वें ओवर में मार्कस स्टोइनिस का विकेट झटककर बची-खुची उम्मीदें खत्म कर दीं. मार्नस लाबुशेन (46) और मिचेल स्टार्क (27) ने जरूर 69 रन की दमदार साझेदारी की लेकिन ये सिर्फ हार का अंतर कम कर सकी. तबरेज शम्सी (2/38), यानसन और महाराज ने बचे हुए विकेट लेकर ऑस्ट्रेलिया को 177 रनों पर ढेर कर दिया.