दिल्ली:
हिमाचल प्रदेश में नवनिर्मित कांग्रेस सरकार ने पुरानी पेंशन योजना की बहाली पर मुहर लगा दी है। जानकारी के मुताबिक हिमाचल के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि मामले का गहन अध्ययन किया गया। वित्त विभाग के अधिकारियों ने ओपीएस की बहाली के संबंध में आपत्ति जताई थी, लेकिन इस मुद्दे को सुलझा लिया गया है। सीएम सुक्खू ने बताया कि वर्तमान में नई पेंशन योजना (एनपीएस) के तहत आने वाले सभी कर्मचारियों को भी ओपीएस शामिल किया जाएगा। इसे कर्मचारियों के परामर्श से तैयार किए जाएगा। सभी का ध्यान रखा जाएगा।

हिमाचल प्रदेश सचिवालय में गुरुवार को कर्मचारियों को संबोधित करते हुए सुक्खू ने कहा था कि हम वोट के लिए पुरानी पेंशन योजना को बहाल नहीं कर रहे हैं, बल्कि सामाजिक सुरक्षा देने और हिमाचल के विकास का इतिहास लिखने वाले कर्मचारियों के स्वाभिमान की रक्षा के लिए ये कर रहे हैं।

बता दें कि हिमाचल प्रदेश में पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस) एक प्रमुख चुनावी मुद्दा था। कांग्रेस ने विधानसभा चुनाव जीतने पर इसे बहाल करने का वादा किया था। ओपीएस के तहत सरकार की ओर से पूरी पेंशन राशि दी जाती थी, जिसे 1 अप्रैल 2004 को देशभर में बंद कर दिया गया था। नई पेंशन योजना (एनपीएस) के तहत कर्मचारी अपने मूल वेतन का 10 प्रतिशत अपनी पेंशन के लिए योगदान देते हैं। जबकि राज्य सरकार इसमें 14 प्रतिशत योगदान करती है।