लखनऊ : केंद्र और राज्य सरकार के विभिन्न कार्यालों और अधिकारियों को पत्र लिखकर मौलाना कलबे जवाद नकवी ने बड़े इमामबाड़ा के विनाश तथा इमामबाड़ा परिसर में निर्माण किए जा रहे अस्पताल के मुद्दे पर तथा हुसेनाबाद ट्रस्ट की भूमि पर जारी अवैध निर्माण के संबंध में सूचित करते हुए तुरंत कारवाई की मांग की। मौलाना ने प्रधानमंत्री मोदी जी और मुख्यमंत्री के प्रधान सचिवों, विभिन्न संबंधित अधिकारियों, और संस्थाओं को पत्र लिखकर बड़े इमामबाड़े के परिसर में निर्माण किए जा रहे अस्पताल के कामकाज को तुरंत रुकवाने की मांग की। मौलाना ने पत्र में लिखा है कि बड़े इमामबाड़े के परिसर में निर्माण किया जा रहा अस्पताल अवैध है जिस पर ।ASI ने भी आपत्ति जताई थी और उसके खिलाफ अदालत में पी0आई0एल भी हो चुकी है। इसलिए केंद्रीय एवं राज्य सरकार के जिम्मेदार अधिकारियों और संबंघित कार्यालों की जिम्मेदारी है कि अस्पताल के कामकाज को तुरंत रूकवायें ताकि इमामबाड़ा जा देष का द्यरोहर है सुरक्षित रहे ।

मौलाना ने पत्र में लिखा है कि ।ASI के निर्देश के अनुसार नौबत खाना को तुरंत खाली कराया जाए जो मोरंग,बालू और अन्य सामान से भरा पड़ा है। इस तरह इस यादगार प्राचीन इमारत को गंभीर खतरा है और ये इमारत विनाश के कगार पर है । साथ ही हुसैनाबाद ट्रस्ट के कर्मचारियों और जिला प्रशासन के खिलाफ तुरंत FIX/US-30 AMSR अधिनियम 1958 के तहत एफ0आई0आर0 दर्ज कराई जाए जो छोटे और बड़े इमामबाड़े की असली शक्ल व सूरत खराब कर रहे हैं वहीं हुसैनाबाद और संबंधित ट्रस्ट के कर्मचारियों को तुरंत निर्देश जारी करें कि किसी भी तरह का निर्माण या मरम्मत की वजह से इमारतों के मूल स्वरूप को खराब न करें।

बड़े इमामबाड़ा के संरक्षण और हुसैनाबाद ट्रस्ट के कल्याण के लिए तथा जारी अवैध निर्माण पर तुरंतं जिन संस्थाओं और जिम्मेदार अधिकारियों को मौलाना सैयद कल्बे जव्वाद नकवी ने पत्र लिखा है उनका विवरण इस प्रकार है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रधान सचिव आरक्योलोजिकल सर्वे ऑफ इंडिया के महानिदेशक नई दिल्ली, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश, स्वास्थ्य व चिकित्सा विभाग के प्रमुख सचिव उत्तर प्रदेश लखनऊ, कमिषनर लखनऊ आरक्योलोजिकल सर्वे ऑफ इंडिया लखनऊ क्षेत्र के अद्यिक्षक, जिला मजिस्ट्रेट और पुलिस के वरिष्ठ अद्यिक्षक को मौलाना कल्बे जव्वाद नकवी ने पत्र लिखकर सूचित किया और जल्द से जल्द उचित कायेवाई की मांग की ताकि बड़े इमामबाड़े और हुसैनाबाद ट्रस्ट की रक्षा की जा सके।