लखनऊ :मजलिसे उलमाये हिन्द के महासचिव मौलाना सैयद कल्बे जव्वाद नकवी ने अपने एक बयान में कहा कि अत्याचार के आधार धन का लालच, सत्ता वासना और इच्छाओं का पालन हैं। इन्ही के आधार पर मनुष्य अत्याचार करने के लिए मजबूर होता है मौलाना ने कहा कि शैतान किसी व्यक्ति का नाम नहीं है बल्कि सिफत का नाम है। जिसमें ये गुण पैदा होंगे वह शैतान होगा। मौलाना ने कहा के उलमा ने शैतान के तीन प्रकार या तीन गुण बताये है । शैतान ए दोलत ,शैतान ए हवस  और शैतान ए ताकत उसके गुण हैं। यानी इंसान शैतान तभी बनता है जब उसे किसी चीज की इच्छा हो, या धन वासना हो या फिर ताकत का नशा हो ।मौलाना ने कहा कि यह शैतानी गुण सऊदी अरब ,इसराइल और अमरीका में मौजूद हैं । सऊदी अरब विद्वानों की हत्या कर रहा है क्योंकि वह शैतान है और शैतान परस्त है।

मौलाना ने कहा कि शहीद शेख बाकिर उल निम्र का जुर्म केवल यह था कि वह अन्याय के खिलाफ आवाज उठाते थे इसी अपराध में उनका सिर कलम कर दिया गया । एहले सुन्नत जनता को अभी यह पता नहीं है कि उनके साथ सुन्नी धर्मगुरू और इमाम का भी सिर काटा गया उनका अपराध केवल यह था कि वह पैग़म्बर साहब की नाअत पढ़ा करते थे । हुकूमत ने नअत पढ़ने के अपराध में उनकी हत्या कर दी । क्योंकि उनके यहाँ रसूले इस्लाम की नअत पढ़ना जूर्म और बिदअत है। जो लोग इन अत्याचारियों के समर्थन में जनसभा रहे हैं उनका हश्र भी अत्याचारियों के साथ होगा।

मौलाना ने कहा के काबा को सबसे बड़ा खतरा जिस दुश्मन से है उसका जिक्र भी नहीं किया जाता है । अमरिका में जब सैनिकों को प्रशिक्षण संस्थान मै प्रशिक्षण दिया जाता है तो मदीना और काबा के मॉडल पर बमबारी कराई जाती है जिसकी खबर मीडिया में प्रसारित हो चुकी है मगर उसकी निंदा मैं किसी का बयान नहीं आया।हिन्दोस्तान में चार इजरायल और सऊदी अरब की गुप्त बैठकें हो चुकी हैं जिनमें एक बैठक लखनऊ में भी हुयी थी जिसकी खबर मीडिया में आ गई थी जिस से ना अमेरिका ने इनकार किया और न सऊदी अरब ने ,इसलिए अब ये लोग असली दुश्मन से ध्यान हटाने के लिए ऐसे जलसे करवाते हैं । सऊदी अरब और इसराइल ऐसे खरीदे हुये मौलवियों का उपयोग करते है कि वास्तविक लक्ष्य और दुश्मन से ध्यान हट जाए।