लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा है कि प्रदेश के विकास के लिए शिक्षा प्रणाली को अद्यतन बनाया जाना समय की जरूरत है, जिससे प्रदेश की छात्र-छात्राएं जरूरत के हिसाब से शिक्षा प्राप्त करने के अलावा स्वयं में नेतृत्व क्षमता का विकास कर सकें। इसके लिए देश में पहली बार किसी राज्य सरकार द्वारा अपने शिक्षा अधिकारियों को आधुनिक प्रबन्धन की जानकारी दी जा रही है। इसके साथ ही, बिना किसी अतिरिक्त वित्तीय निवेश के वर्तमान संसाधनों का समुचित सदुपयोग करते हुए विद्यार्थियों, अध्यापकों एवं अधिकारियों में नवाचार को बढ़ावा देने के लिए उन्हें प्रेरित किया जा रहा है।  

यह जानकारी देते हुए शासन के प्रवक्ता ने आज यहां बताया कि इसके लिए श्री अरविन्दो सोसाइटी की मदद ली जा रही है। सोसाइटी द्वारा उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा विभाग के 150 अधिकारियों को ‘लीडरशिप बाई काॅन्शस्नेस’ कार्यक्रम के तहत रामगढ़ में सघन प्रशिक्षण दिया जा रहा है, जिसमें विभागीय अधिकारियों के अलावा मुख्यमंत्री के सचिव श्री पार्थ सारथी सेन शर्मा एवं प्रमुख सचिव माध्यमिक शिक्षा श्री जीतेन्द्र कुमार भी भाग ले रहे हैं। 

प्रवक्ता ने इसे एक राज्य स्तरीय पहल बताते हुए कहा कि शिक्षा विभाग में जीरो इन्वेस्टमेंट इनोवेशन्स इन एज्युकेशन इनिशिएटिव्स (जेड0आई0आई0आई0ई0आई0) व्यवस्था लागू करके पूरी शिक्षा प्रणाली को बदलने का प्रयास किया जा रहा है। इसके तहत नवाचार को बढ़ावा देकर शिक्षा व्यवस्था के प्रत्येक स्टेक होल्डर में जागरूकता पैदा की जाएगी। साथ ही, जिम्मेदार पदों पर बैठे लोगों में आधुनिक प्रबन्धन, तकनीक एवं नेतृत्व क्षमता विकसित करने की कोशिश की जाएगी, जिससे शिक्षा के क्षेत्र में व्यापक एवं व्यवहारिक बदलाव लाए जा सके। 

ज्ञातव्य है कि जेड0आई0आई0आई0ई0आई0 का विकास श्री अरविन्दो सोसाइटी द्वारा प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था में निचले स्तर तक नवपरिवर्तन लाने के लिए किया गया है, ताकि मौजूदा व्यवस्था में बिना किसी अतिरिक्त निवेश के आमूल-चूल परिवर्तन लाया जा सके। प्रथम चरण में यह प्रयास सरकारी तथा सहायता प्राप्त स्कूलों में किया जाएगा। इसके माध्यम से लगभग 4 लाख शिक्षकों को निःशुल्क प्रशिक्षण दिया जाएगा और उनके अनुभवों का नियमित डाॅक्यूमेण्टेशन भी किया जाएगा। प्रशिक्षण के दौरान शिक्षकों द्वारा प्रस्तुत किए गए उत्कृष्ट नवाचार सम्बन्धित विचारों एवं सुझावों को उन्हीं के द्वारा उनके विद्यालयों में लागू करवाकर उसके व्यवहारिक पहलुओं का जायजा लिया जाएगा। नवाचार पर काम करने वाले शिक्षकों को आर्थिक पुरस्कार के साथ-साथ उनको प्रशस्ति पत्र भी दिया जाएगा ताकि वे प्रोत्साहित होकर अपने नवाचार पर आगे कार्य कर सकें।

जेड0आई0आई0आई0ई0आई0 के अन्तर्गत क्लासरूम डिलीवरी के साथ-साथ शिक्षा की गुणवत्ता, नैतिक मूल्यों, प्रशासनिक प्रक्रियाओं, अवस्थापना सुविधाओं, अभिभावकों का सहयोग तथा नेतृत्व और तकनीक को भी शामिल किया जाएगा। साथ ही, इस प्रशिक्षण के अन्तर्गत उत्तर प्रदेश के परिप्रेक्ष्य में विशिष्ट विकास के इम्पैक्ट एरियाज पर भी ध्यान केन्द्रित किया जाएगा।

श्री अरविन्दो सोसाइटी के साथ मिलकर राज्य सरकार द्वारा पहले ही शिक्षा से सम्बन्धित योजनाओं में सहयोग शुरू किया जा चुका है। इस सोसाइटी द्वारा उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा अभियान के अन्तर्गत इस वर्ष अप्रैल से अब तक 50 जिलों के 13,000 शिक्षकों और प्रधानाचार्यों को पाठ्यक्रम पर आधारित मोटीवेशनल वर्कशाॅप में प्रशिक्षण दिया जा चुका है, जिसके काफी सकारात्मक परिणाम रहे हैं और शिक्षण वातावरण में सुधार आया है। 

यह भी उल्लेखनीय है कि हाल ही में पोण्डीचेरी की स्वैच्छिक संस्था श्री अरविन्दो सोसाइटी के पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री से भेंट कर माध्यमिक शिक्षा अधिकारियों को भी प्रशिक्षित करने का प्रस्ताव दिया था। यह प्रशिक्षण कार्यक्रम इसी क्रम में आयोजित किया जा रहा है।