लखनऊ :पिछड़ा समाज महासभा ने समाजवादी पार्टी पर यह आरोप लगाया है कि 2012 के विधान सभा के चुनाव में मुस्लिमों को 18 प्रतिशत आरक्षण दिये जाने के साथ अन्य वादे किये थे जो अभी तक पूरे नही हुए प्रदेश का मुस्लिम आगामी 2017 से होने वाले विधान सभा के चुनाव में समाजवादी पार्टी से हिसाब-किताब बराबर करेगा। मुस्लिम किसी भी पार्टी का बन्धुआ मजदूर अब नही रहा  वह ना तो धर्म के ठेकेदारों व दलाल मुस्लिम नेताओं के झांसे में नही आने वला है। मुस्लिम अब अपना बेहतर रास्ता खुद चुनेगा 69 वर्षो में मुस्लिमों के अधिकारों का शोषण नही हुआ है, उनको पीछे करने में कोई कसर नही छोड़ी गयी है। उन्हें किसी भी स्तर पर न्याय नही मिला है, यह जानकारी आज यहां जारी एक बयान में महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष एहसानुलहक मलिक ने दी। मलिक ने समाजवादी पार्टी में चुनावी घोषणा पत्र को मुलायम को याद दिलाते हुए कहा, कहां गया मुस्लिमों को 18 प्रतिशत आरक्ष्ज्ञण , कहां गयी सभी कब्रिस्तानों की चहर दीवारी , आतंक के नाम पर बन्द बेकसूरों मे से कितने लोगों को छोड़ा गया, कितने लोगों को मुआवजा दिया गया, मौलाना खालिद मुजाहिद के दोषियों पर क्या कार्यवाही हुई मुस्लिमों को पुलिस में कितनी भर्ती हुई मुस्लिम बाहुल्य इलाके में कितने स्कूल आदि खोले गये मुस्लिम कालेज जो मानक को पूरा कर रहते है कितने कालेज को इवरसिटी की मान्यता दी गयी और तमाम वादे जो फाईलों में दब कर रह गये है। ऐसा लगता है कि 2017 के चुनाव में फिर वही वादे समाजवादी पार्टी करेगी। जो अब चलने वाली नही, नाही मुस्लिम समाजवादी पार्टी के बहकावे में आने वाला नही।

मालिक ने यह भी कहा समाजवादी पार्टी की सरकार बनाने के बाद दंगों की बाढ़ सी आ गयी थी, जिसका सबसे ज्यादा खामियाजा मुस्लिमों को उठाना पड़ा है। मालिक ने यहा भ्ज्ञी कहा कि 2017 के विधान सभा चुनाव आने वाले है अब यथा कथित सेकुलर पार्टियां धर्म के ठेकेदारों व मुस्लिम दलाल नेता मुस्लिमों को बलगलाने की फिर शुरूआत करेंगे, लेकिन इस बार मुस्लिम उनसे तमाम सवाल ही नही करेंगे बल्कि ऐसे लोगों का सामाजिक बाहिष्कार करेंगे। मलिक ने सभी मुस्लिमों से अपनी बात कही है कि वह किसी के बहकावे व झूठे वादे व लालच में ना फंसे बल्कि निर्भय होकर अपने सच्चे ईमानदार प्रत्याशियों को जिताये ताकी मुस्लिमों की मूल भूत समस्याओं का समाधान हो सकें।