लखनऊ: भारतीय जनता पार्टी ने सीतापुर के महमूदाबाद में पुलिस थाने में लड़की द्वारा फांसी लगाने बरेली में शोहदों से परेशान छात्रा के आत्मदाह की घटनाओं पर दुःख व्यक्त करते हुए कहा कि अखिलेश सरकार के तमाम दावो के बावजूद राज्य में महिलाएं कब सुरक्षित होगी ? प्रवक्ता विजय बहादुर पाठक ने कहा कि अखिलेश राज में राज्य के थाने हत्या/आत्महत्या के केन्द्र क्यों बनते जा रहे है। जिन पुलिसकर्मियों पर जनता की रक्षा की जिम्मेदारी है, वे आरोपों की जद में है। शाहजहांपुर का जगेन्द्र काण्ड, बाराबंकी का कोठी काण्ड और अब सीतापुर के महमूदाबाद थाने में लड़की की मौत को हर बार पुलिस आत्महत्या करार देती है और पुलिस का विरोध करने पर नागरिकों पर कहर बरपाया जाता है।

श्री पाठक ने राज्य की कानून व्यवस्था पर सवाल खड़े करते हुए कहा कि आज ही एक निजी टी.वी. चैनल के कार्यक्रम में राज्य के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव समेत उनके आलाधिकारी प्रदेश में नारी सुरक्षा के बेहतर होने के दावे कर रहे थे, दूसरी ओर राजधानी से सटे सीतापुर में नारी सुरक्षा को लेकर लोग सड़क पर थे। राज्य की बेरहम नासमझ पुलिस स्थिति को नियंत्रण करने की बजाय गोली चलाने में भरोसा रखती है, इस घटना पर संजीदगी का परिचय देने की बजाय पुलिस ने एक बार फिर गोली चला भीड़ को नियंत्रित करने का प्रयास किया।

उन्होंने कहा कि हमीरपुर में यही हुआ विवार में घटी घटना पर लोग न्याय की मांग कर रहे थे, पुलिस बजाय संजीदगी और संयम का परिचय देती उनसे गोली चलाना बेहतर समझा पुलिस की गोली से एक व्यक्ति की मृत्यु हो गयी और आज सीतापुर में यही हुआ। घटना आक्रोशित जनता के नियंत्रित करने के लिये पुलिस ने गोली चलाना ठीक समझा।

भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि आखिर नारी सुरक्षा के दावे करने में जुटी अखिलेश सरकार महज तकनीकी, विज्ञापनों, नेताओ के वक्त्वयों से महिलाओं की सुरक्षा कैसे करेगी। सीतापुर में भीड़ अनियंत्रित हो रही थी तो परिस्थितियों का पूर्वानुमान कर उसके अनुरूप व्यवस्था क्यों नहीं की गयी।

श्री पाठक ने घटना की तीव्र शब्दों में भत्र्सना करते हुए दोषी पुलिसकर्मियों को तत्काल निलंबित करते हुए उनकी गिरफ्तारी की मांग की है।