नई दिल्ली। देश में राजनैतिक पार्टियों का पंजीकरण कराने की होड़ है। चुनाव आयोग में मार्च 2014 से लेकर इस साल जुलाई तक 239 दल अपना पंजीकरण करवा चुके हैं जिसके चलते पंजीकृत राजनैतिक दलों की संख्या 1866 तक पहुंच गई है।

चुनाव आयोग (ईसी) के मुताबिक, 24 जुलाई तक उसके यहां 1866 राजनैति दल पंजीकृत हैं। इनमें से मान्यता प्राप्त 56 राष्ट्रीय या राज्य पार्टियों के तौर पर पंजीकृत हैं, जबकि बाकी गैर-मान्यता प्राप्त पार्टियों के तौर पर पंजीकृत हैं।

आयोग द्वारा संगृहीत डाटा के मुताबिक, पिछले साल हुए लोकसभा चुनाव में 464 पार्टियों ने अपने उम्मीदवार मैदान में उतारे थे। आयोग के चुनाव पैनल ने इकटा कर कानून मंत्रालय को सौंप दिया है जिसका इस्तेमाल संसद मे किया जाएगा। मंत्रालय का वैधानिक विभाग चुनावो में नजर रखने का काम करता है।

चुनाव आयोग के मुताबिक, 10 मार्च 2014 तक देश में 1593 पार्टियां पंजीकृत थीं। मार्च 11 और 21 के बीच 24 और पार्टियां ने अपना पंजीयन करवाया था। 26 मार्च तक 10 और राजनैतिक दलों ने अपना पंजीयन करवाया था। ये सब पार्टियां 5 मार्च को लोकसभा चुनाव की घोषणा के बाद पंजीकृत हुई थीं।

पिछले साल मार्च तक ईसी के पास 1627 पार्टियों पंजीकृत थीं। मार्च 2014 और जुलाई 2015 तक 239 पार्टियों ने आयोग में अपना पंजीयन करवाया था। पंजीकृत, लेकिन गैर-मान्यता प्राप्त ये पार्टियां अपने खुद के चिन्ह पर चुनाव नहीं लड़ सकती हैं।

इन पार्टियों को चुनाव पेनल की ओर से “मुफ्त चिन्ह” में से किसी चिन्ह का चयन करना होगा। आयोग के नवीनत सर्कुलर के अनुसार, ऎसे 84 चिन्ह उपलब्ध हैं। उल्लेखनीय है कि राष्ट्रीय या प्रदेश स्तर की राजनैतिक पार्टी बनने के लिए पार्टी को तय मापदंड पुरे करने पड़ते हैं।