देहरादून: राहुल गांधी ने गौरीकुंड से केदारनाथ के लिए पैदल यात्रा शुरू की, तो उनके चेहरे पर जबरदस्त उत्साह नजर आ रहा था। उनकी तेज चाल देखकर ऐसा लगा, मानों इन पहाड़ी दुर्गम रास्तों पर वह रोज चलने के आदी हों। राहुल न हांफते दिखे और न उनकी सांस फूली। दूसरी तरफ खुद को खांटी पहाड़ी बताने वाले नेता हांफते नजर आए।

केदारनाथ की चढ़ाई के दौरान कांग्रेसी नेता हरक सिंह रावत और दिनेश धनै भी साथ चल रहे थे। लेकिन उनकी चाल धीमी ही रही। जितेन प्रसाद भी पैदल चलते रहे। वहीं, संजय कपूर और प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय की पैदल चलने में हालत खराब हो गई। इसलिए उन्हें बीच में ही घोड़ों का सहारा लेना पड़ा। लेकिन जब उन्होंने राहुल को चलते देखा तो कुछ देर बाद ही घोड़े से उतरकर फिर पैदल चलने लगे। दोपहर करीब 3 बजकर 5 मिनट पर राहुल जंगल चट्टी पहुंचे और यहां कुछ देर रुके। इस बीच, राहुल ने साथ चल रहे नेताओं से अनौपचारिक बातचीत की और फिर चल दिए। करीब 3 बजकर 50 मिनट पर वे रुद्राफाल पहुंचे तो वहां कुछ मजदूर काम करते दिखे। राहुल ने रुककर उनका हालचाल लिया तो मजदूर हक्के-बक्के रह गए। राहुल का इस तरह उनके पास रुककर हाल पूछना उनके लिए हैरान करने वाली बात थी।

कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी के आने की सूचना पर बड़ी संख्या में कांग्रेसी उनके स्वागत के लिए एयरपोर्ट पहुंचे। उनके साढ़े दस बजे जौलीग्रांट पहुंचने की सूचना पर सुबह से ही कांग्रेसी जुटने लगे थे। इसके बाद एयरपोर्ट पर जैसे ही कोई जहाज रनवे पर उतरता कांग्रेसी नारेबाजी शुरू कर दिया। सुबह साढ़े दस बजे से 12 बजे के बीच तीन विमानों ने रनवे पर उतरने के बाद उड़ान भी भरी। 12 बजकर 5 मिनट पर विशेष विमान रनवे पर कुछ दूर पहले ही उतर गया। जिसमें राहुल गांधी,अंबिका सोनी विमान से उतरने के बाद सीधे एयरपोर्ट हॉल में दाखिल हुए।