नई दिल्ली : सुप्रीम कोर्ट ने सीबीआई के अधिकारी विवेक प्रियदर्शी को आज आईपीएल-6 में स्पाट फिक्सिंग और सट्टेबाजी कांड की आगे जांच के लिये गठित दल का मुखिया नियुक्त किया। प्रियदर्शी इस समय जांच एजेन्सी के भ्रष्टाचार निरोधक प्रकोष्ठ में पुलिस अधीक्षक हैं। वह भारतीय पुलिस सेवा के 1983 बैच के असम-मेघालय काडर के अधिकारी बी बी मिश्रा का स्थान लेंगे। बी बी मिश्रा सेवानिवृत्त हो गये हैं।
प्रियदर्शी ने 2जी स्पेक्ट्रम आबंटन प्रकरण सहित कई महत्वपूर्ण मामलों की जांच की है और वह शीर्ष अदालत द्वाना पूर्व प्रधान न्यायाधीश आर एम लोढा की अध्यक्षता में नियुक्त सेवानिवृत्त न्यायाधीशों की तीन सदस्यीय समिति की पसंद हैं। इस समिति को आईपीएल-6 में आगे जांच की जिम्मेदारी सौंपी गयी है। यह समिति बीसीसीआई के सीओओ सुन्दर राजन के खिलाफ आरोपों की भी जांच देख रही है।
न्यायमूर्ति तीरथ सिंह ठाकुर और न्यायमूर्ति एफएमआई कलीफुल्ला की पीठ ने न्यायमूर्ति लोढा समिति की अर्जी स्वीकार करते हुये कहा कि उन्हें इसे अस्वीकार करने की कोई वजह नजर नहीं आती और इसलिए पिय्रदर्शी अब मिश्रा के स्थान पर जांच दल का नेतृत्व करेंगे।
न्यायालय ने कहा कि सीबीआई अधिकारी इस प्रकरण में आगे जांच में सहयोग के लिये अपने जांच दल के सदस्यों का चयन करने के लिये स्वतंत्र होगा। न्यायालय ने कहा कि नये जांच दल को वह सारे अधिकार प्राप्त होंगे जो उसके 16 मई, 2014 के तहत मिश्रा को प्राप्त थे। शीर्ष अदालत ने स्पष्ट किया कि सक्षम प्राधिकारी यह सुनिश्चित करने के लिये उचित कदम उठायेंगे कि यह अधिकारी सीबीआई में आने काम के अतिरिक्त लोढा समिति के लिये उपलब्ध रहे।
लोढा समिति में न्यायमूर्ति अशोक भान और न्यायमूर्ति आर वी रवीन्द्रन सदस्य हैं। यह समिति बीसीसीआई के पूर्व अध्यक्ष एन श्रीनिवासन के दामाद गुरूनाथ मयप्पन और राजस्थान रायल्स के सह मालिक राज कुन्द्रा के खिलाफ सजा की मात्रा पर भी निर्णय करेंगे। इन दोनों को सट्टेबाजी का दोषी पाया गया है।
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