नई दिल्ली: जम्मू कश्मीर से हिरासत में लिए गए करीब 285 लोगों को उत्तर प्रदेश की जेलों में रखा गया है। इसमें आगरा में ही 85 लोग शामिल हैं। एक अंग्रेजी अख़बार की रिपोर्ट के मुताबिक 5 अगस्त को आर्टिकल 370 हटाने के फैसले के बाद तमाम लोगों को हिरासत में लिया गया जिन्हें यूपी की जेलों में भी रखा गया है।

आगरा की जेल में भेजे गए कैदियों के लिए अलग बैरक में रखा गया है। उनके परिजनों से भी मुलाकात नहीं करने दिया जा रहा। हिरासत में लिए गए अधिकांश लोग 18 से 45 साल के बीच के हैं। सिर्फ कुछ लोग ही 50 साल पार हैं। इसमें नेता, कॉलेज स्टूडेंट्स, पीएचडी स्कॉलर, प्रीचर, टीचर, व्यापारी और सुप्रीम कोर्ट के वकील शामिल हैं।

आगरा जोन के डीआईजी (जेल) ने अख़बार से बात करते हुए बताया कि कश्मीर की अलग-अलग जेलों से कैदियों को यहां लाया जा रहा है। फिलहाल आगरा केंद्रीय कारागार में 85 कैदी हैं। उन्हें उच्च सुरक्षा में रखा गया है। संभव है कि अधिक कैदियों को यहां लाया जा सकता है। वेरिफेकशन के बाद उनके परिजनों से मिलने की अनुमति दी जा सकती है। इसके अलावा जेल में उनके लिए कोई अतिरिक्त बदलाव नहीं किए गए हैं।

यूपी की जेलों में बंद कैदियों की सामान्य मांग अंग्रेजी समाचार पत्र है। उन्हें अन्य कैदियों के साथ खाना दिया जा रहा है। उन्हें जेल परिसर में घूमने की भी अनुमति है। फिलहाल कैदियों को अपने परिजनों से मिलने का इंतजार है।

पांच अगस्त को जम्मू कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले आर्टिकल 370 को समाप्त करने और राज्य को दो केंद्रशासित प्रदेशों में विभाजित करने का प्रस्ताव लाया गया था। तब से घाटी में हालात तनावपूर्ण हैं। इस दौरान जम्मू कश्मीर में कम से कम 290 लोगों को पब्लिक सेफ्टी एक्ट (PSA) के तहत हिरासत में लिया गया है।