नई दिल्ली: लगभग एक दशक तक राष्ट्रपिता महात्मा गांधी का आवास स्थल रहे सेवाग्राम आश्रम के एक न्यासी ने सोमवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यहां के अपने कार्यक्रम से आश्रम को दूर रखकर महात्मा गांधी का मजाक उड़ाया है। सोमवार को विदर्भ में इस जिला मुख्यालय शहर में आये मोदी ने अपना कार्यक्रम तेज धूप में एक चुनावी रैली संबोधित करने तक ही सीमित रखा। सेवाग्राम आश्रम प्रतिष्ठान के न्यासी अविनाश काकड़े ने कहा, ‘‘हो सकता है, पिछले पांच साल में उन्होंने (मोदी) यह सोचना शुरू कर दिया हो कि वह गांधी से बड़े हो गये हैं और गांधी की जरूरत ही नहीं है।’’

अविनाश काकड़े ने कहा कि गांधी और मोदी अपने विचारों एवं कृत्य में अलग-अलग ध्रुव हैं, मोदी के शासनकाल में झूठ देश में सर्वोपरि हो गया है और उनका सेवाग्राम नहीं आना गांधी की सत्य की वकालत का मजाक उड़ाने जैसा है। काकड़े ने कहा कि (मोदी सोचते हैं), ‘‘तुमसे बड़ा मैं हो गया हूं, तुम सत्य की बात करते थे, मैं झूठ की बात करता हूं, देखो देश में कौन बड़ा है।’’ उन्होंने कहा कि गांधी सत्य में विश्वास करते थे जबकि मोदी सत्ता हथियाने के लिए झूठ बोलने और झूठ का इस्तेमाल करने में यकीन करते हैं। गांधी अहिंसा के पैरोकार थे जबकि मोदी हिंसा में विश्वास करते हैं। वर्ष 1936 में महात्मा गांधी ने वर्धा के बाहरी इलाके में सेगांव नामक एक ग्राम में इस सेवाग्राम की स्थापना की थी।