कालीनगर: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने असम के लोगों को शुक्रवार को भरोसा दिलाया कि एनआरसी से कोई भी असल नागरिक नहीं छूटेगा और उन्होंने नागरिकता विधेयक को संसद की जल्द ही मंजूरी मिलने की उम्मीद जताई. मोदी ने कालीनगर में ‘विजय संकल्प समावेश रैली’ को संबोधित करते हुए कहा, ‘मैं एनआरसी (राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर) के दौरान कई लोगों को हुई दिक्कतों और मुश्किलों के बारे में जानता हूं लेकिन मैं आपको भरोसा दिलाता हूं कि किसी भी वास्तविक भारतीय नागरिक के साथ अन्याय नहीं होगा.’

उन्होंने पूर्वोत्तर में भाजपा की लोकसभा चुनाव प्रचार मुहिम की शुरूआत करते हुए कहा, ‘सरकार नागरिकता (संशोधन) विधेयक पर और काम कर रही है. यह लोगों की जिंदगी और भावनाओं से जुड़ा है. यह किसी के फायदे के लिए नहीं है बल्कि अतीत में हुए कई गलत कार्यों एवं अन्याय का प्रायश्चित है.’

मोदी ने 35 साल से ‘लटके’ असम समझौते की धारा छह को लागू करने के सरकार के निर्णय के बारे में भी बात की. उन्होंने कहा, ‘अब असम की सामाजिक, सांस्कृतिक एवं भाषायी पहचान की रक्षा का रास्ता साफ है.’

मोदी ने कहा, ‘हालिया पंचायत चुनावों में भाजपा के लिए मतदान करने के कारण मैं असम के लोगों का ऋणी हूं और मैं राज्य का विकास सुनिश्चित करके इस ऋण को चुकाने के लिए प्रतिबद्ध हूं.’

उन्होंने 25 दिसंबर को असम के बोगीबील में देश के सबसे लंबे रेल-सड़क पुल के उद्घाटन का जिक्र करते हुए कहा, ‘मेरा सौभाग्य है कि मुझे पिछले 10 दिन में दूसरी बार असम के लोगों से मिलने का अवसर मिला. बराक और ब्रह्मपुत्र घाटियां केवल राज्य ही नहीं, बल्कि देश के लोगों के लिए भी प्रेरणा का स्रोत हैं.’

प्रधानमंत्री चुनाव प्रचार मुहिम के पहले चरण के तहत इम्फाल से सिलचर के कछार जिले पहुंचे. वह आचार संहिता लागू होने से पहले 100 दिनों में 20 राज्यों में रैलियां संबोधित करेंगे. भाजपा और उसके सहयोगियों ने क्षेत्र के आठ राज्यों में 25 संसदीय सीटों में से 21 में जीत का लक्ष्य रखा है. असम में पार्टी को 14 में से कम से कम 11 सीटों पर जीत की उम्मीद है.

भाजपा को 2014 लोकसभा चुनाव में असम में 14 में से सात संसदीय सीटों पर जीत मिली थी. इसके अलावा 2016 विधानसभा चुनाव में भी पार्टी ने 61 सीटों पर जीत हासिल की थी.