नई दिल्ली: हाल ही में मुख्य चुनाव आयुक्त के पद से मुक्त हुए ओपी रावत ने कहा है कि नोटबंदी से चुनाव में कालेधन का उपयोग नहीं रुका है। उन्होंने कहा कि पिछले चुनावों की तुलना में इस बार अधिक कालाधन बरामद हुआ है। रावत ने चुनाव में कालेधन के उपयोग पर चिंता जाहिर की है।
पूर्व CEC ओपी रावत ने कहा, 'नोटबंदी के बाद यह कहा गया था कि चुनाव के दौरान पैसे का दुरुपयोग कम हो जाएगा। लेकिन बरामदगी के आंकड़ों के आधार पर यह साबित नहीं हो सका। पिछले चुनावों के मुकाबले उन्हीं राज्य में अधिक कालेधन की बरामदगी हुई है।'
उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है कि राजनीतिक वर्ग और उनके फाइनेंसरों को पैसे की कोई कमी नहीं है। इस तरीके से उपयोग किया जाने वाला पैसा आम तौर पर कालाधन होता है। जहां तक चुनाव में कालेधन का इस्तेमाल किया जाता है, वहां कोई जांच नहीं है।
चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने रविवार को 23वें मुख्य चुनाव आयुक्त का पदभार संभाला और 2019 लोकसभा चुनाव कराने के लिए सभी संबंधित पक्षों से सहयोग मांगा। ओपी रावत एक दिन पहले इस पद से सेवानिवृत्त हुए हैं। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने 27 नवंबर को अरोड़ा को पद पर नियुक्त किया था।
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