नई दिल्ली: केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने सबरीमला में हिंसक प्रदर्शन को लेकर मंगलवार को भाजपा और आरएसएस पर हमला बोला। सबरीमला में भगवान अय्यप्पा के दर्शन के लिए सभी उम्र की महिलाओं को मंदिर में प्रवेश की अनुमति उच्चतम न्यायालय द्वारा दिए जाने के बाद से, इस फैसले के विरोध में यहां प्रदर्शन हो रहा है।

मुख्यमंत्री ने यहां संवाददाताओं से कहा कि यहां तनावपूर्ण माहौल बनाने के लिए सुनियोजित तरीके से और जानबूझकर प्रदर्शन किया गया। उन्होंने आरोप लगाया कि 10-50 साल की महिलाओं को इस मंदिर में पूजा से रोकने और इस ऐतिहासिक घटनाक्रम को कवर करने आए पत्रकारों पर हमले का षड्यंत्र आरएसएस ने रचा था।

मुख्यमंत्री ने कहा कि उच्चतम न्यायालय के सभी उम्र की महिलाओं को मंदिर में प्रवेश की अनुमति देने वाले आदेश को लागू करना राज्य सरकार की संवैधानिक जिम्मेदारी है और मंदिर परिसर को युद्ध क्षेत्र तब्दील करने की किसी भी कोशिश की अनुमति नहीं दी जाएगी।

सबरीमला में जब महीने में एक बार होने वाली पूजा के लिए 17 अक्टूबर से 22 अक्टूबर तक मंदिर का दरवाजा खोला गया तो यहां तनावपूर्ण और नाटकीय माहौल देखने को मिला। मुख्यमंत्री ने कहा कि श्रद्धालुओं की भावनाओं का सम्मान किया जाना चाहिए। लेकिन उन्होंने यह साफ कर दिया कि अदालत के आदेश को लागू करना राज्य सरकार की जिम्मेदारी है।

उन्होंने आरोप लगाया कि आरएसएस ने राज्य सरकार की पुलिस को सांप्रदायिक रंग देने घृणित प्रयास किया। मुख्यमंत्री प्रत्यक्ष तौर पर आईजीपी मनोज अब्राहम और एस श्रीजीत पर हुए साइबर हमले का जिक्र कर रहे थे। इन दोनों अधिकारियों को मंदिर में कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए तैनात किया गया था।

मुख्यमंत्री ने मंदिर के तंत्री कंदारारू राजीवारू की भी आलोचना की जिन्होंने कहा था कि अगर महिलाओं को मंदिर में प्रवेश की अनुमति दी जाती है तो वह मंदिर बंद करके चले जाएंगे।