लखनऊ: स्वतंत्रता दिवस पर जिन मदरसों में राष्ट्रगान नहीं गया और सांस्कृतिक कार्यक्रमों की वीडियोग्राफी नहीं की गई, उन मदरसों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई हो सकती है. योगी सरकार द्वारा जारी फरमान को न मानने वाले मदरसों पर नेशनल सिक्यूरिटी एक्ट (एनएसए) के तहत कार्रवाई हो सकती है.

दरअसल कहा जा रहा है कि सरकार के इस आदेश का करीब 150 मदरसों में पालन नहीं किया गया. जिसकी शिकायत मिलने पर बरेली के डिविजनल कमिश्नर डॉ पीवी जगनमोहन ने कहा है कि अगर आरोप सही पाए गए तो इन मदरसों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
डिविजनल कमिश्नर ने कहा कि जहां राष्ट्रगान नहीं गाने के सबूत मिले हैं उन मदरसों से जुड़े लोगों के खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (NSA) लगाया जाएगा.

उन्होंने कहा कि, “'शिकायतकर्ताओं से इस बाबत पुख्ता सबूत पेश करने को कहा गया है. अगर जांच में राष्ट्रगान नहीं गाए जाने की पुष्टि हुई और मदरसा प्रबंधन लिखित में यह स्वीकार करता है तो हम उनके खिलाफ केस दर्ज करेंगे. अगर पुख्ता सबूत मिले तो हम ऐसे लोगों के खिलाफ प्रिवेंशन ऑफ नैशनल ऑनर ऐक्ट और नैशनल सिक्यारिटी ऐक्ट के तहत कार्रवाई कर सकते हैं.”

बरेली के शहर काजी मौलाना असजद रजा खान ने पहले ही ऐलान कर रखा था कि राष्ट्रगान 'गैरइस्लामी' है क्योंकि इसमें कुछ ऐसे शब्द हैं जो इस्लाम के खिलाफ हैं. इसके अलावा दरगाह आलाहजरत से मदरसों में राष्ट्रगान न गाए जाने का फरमान भी जारी हुआ था.

बताते चलें है कि उत्तर प्रदेश मदरसा शिक्षा बोर्ड के रजिस्ट्रार राहुल गुप्ता ने 3 अगस्त को राज्य के सभी जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारियों को सर्कुलर जारी करते हुए कहा था कि राज्य के सभी मदरसों में तिरंगा फहराकर राष्ट्रगान गाया जाएगा. इस कार्यक्रम की वीडियोग्राफी भी की जाएगी. अल्पसंख्यक कल्याण राज्यमंत्री बलदेव सिंह औलख ने कहा कि जिन मदरसों में सरकार के इस आदेश का पालन नहीं हुआ उनके खिलाफ कार्वाई की जाएगी.