नई दिल्‍ली: केंद्र सरकार ने शुक्रवार को लोकसभा में कहा कि भारत में पुरुष नसबंदी नहीं कराना चाहते हैं और उन्हें परिवार नियोजन के लिहाज से जागरुक करने के लिए अभियान चलाए जा रहे हैं.

स्वास्थ्य और परिवार कल्याण राज्यमंत्री अनु्प्रिया पटेल ने प्रश्नकाल में बताया कि '2001 की जनगणना के आधार पर मार्च, 2004 तक भारत की अनुमानित जनसंख्या 1.37 अरब होने की संभावना है. राष्ट्रीय जनसंख्या नीति, 2000 के अनुसार 2045 तक जनसंख्या की स्थिति को स्थिर रखने के दीर्घकालिक लक्ष्य को प्राप्त करना है'.

अनुप्रिया ने अजय मिश्रा के प्रश्न के उत्तर में कहा कि 'देश में नसबंदी के आंकड़े बताते हैं कि इस तरह के मामलों में 36 प्रतिशत सर्जरी महिलाओं की होती है और इनमें पुरुषों की भागीदारी केवल 0.3 प्रतिशत है'.

उन्होंने कहा, 'हमारे यहां पुरुष नसबंदी नहीं कराना चाहते हैं. हमने इस बात को महसूस किया है और हम इस दिशा में जागरुकता लाने के लिए विशेष अभियान चला रहे हैं. पुरुषों का इसमें विशेष योगदान हो, जागरुकता बढ़े, इसके लिए विशेष प्रयास हैं. साथ ही हम 360 डिग्री मीडिया अभियान भी चला रहे हैं'. मंत्री के अनुसार, 'हमने ऐसी विशेष विज्ञापन फिल्म भी बनाई हैं, जिसमें पुरुषों पर विशेष रूप से फोकस है कि हम उन्हें विशेष रूप से प्रोत्साहित करें कि वे भी परिवार नियोजन की तरफ अपना योगदान दें'.