बेसिक शिक्षा मंत्री ने सामाजिक वर्गो से प्राथमिक विद्यालय गोद लेने का आह्वान किया

लखनऊ: भारतीय जनता पार्टी प्रदेश मुख्यालय मंे बेसिक शिक्षा राज्य मंत्री(स्वतंत्र प्रभार)श्रीमती अनुपमा जायसवाल ने जनता की समस्याओं के समाधान के लिए अधिकारियों दिए निर्देश। अपनी पहली बेतन से मुख्यालय के कर्मचारियों को उपहार बांटे। सांसद, विधायक, अधिकारी, पत्रकार वकीलों से किया एक प्राथमिक विद्यालय गोद लेने का अनुरोध। जनसहयोग केन्द्र में मंत्री अनुपमा जायसवाल के साथ प्रदेश उपाध्यक्ष बाबू राम निषाद एवं प्रदेश मंत्री शंकर गिरि भी जनसमस्यााओं के निस्तारण के पुण्य कर्म में जुटे ।
बेसिक शिक्षा (राज्यमंत्री) स्वतंत्र प्रभार अनुपमा जायसवाल ने पत्रकारों से चर्चा के दौरान कहा कि प्रदेश में 1 लाख 60 हजार प्राथमिक, उच्च प्राथमिक विद्यालय है। सभी की सहभागिता से विद्यालयों को प्रभावी बनाया जा सकता है। इसलिए विधायकों, सांसदों अधिकारियों और व्यापारियों, वकीलों पत्रकारों, डाक्टर, इंजीनियर आदि वर्ग से एक विद्यालय गोद लेने की अपील करती हूॅ। श्रीमती जायसवाल ने कहा कि जुलाई में बच्चें नई ड्रेस में विद्यालय जाएंगे। सर्दियों में बच्चों को स्वेटर भी दिए जाएंगे। जूतों की व्यवस्था भी की जाएगी। हमने मिडडे मील की गुणवत्ता में सुधार के लिए 6 माताओं की समिति भी गठित की है। जो मिड डे मील की जांच करेगी। माताओं को प्रतिदिन विद्यालय और अभिवावकों का सम्बन्ध भी बढेगा। हमारा प्रयास है कि गांव से अधिक से अधिक प्रतिभाएं निकलकर आगे आए। मंथली स्लेबस एलोटेड किया गया है ताकि शिक्षण सत्र में निर्धारित पाठ्यक्रम पूर्ण हो।

श्रीमती जायसवाल ने पत्रकारों से कहा कि अध्यापक उपस्थिति रजिस्टर में अध्यापकों की फोटो लगवाई गई है, ताकि अध्यापक के स्थान पर कोई और विद्यालय में पढाने न जाए। अभी बायोमेट्रिक उपस्थिति लागू नहीं की जा रही है। सभी जगह भौतिक सत्यापन हो रहा हैं। मैनें सभी बीएसए को बुलाकर मीटिंग ली है और योगी सरकार की प्राथमिक शिक्षा सुधार को समझा दिया है। अनियमितताएं पाएं जाने पर अब तक 6 बीएसए निलम्बित किए जा चुके है। हर अधिकारी तक संदेश पहुॅच चुका है कि योगी सरकार में लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। जो लोग नहीं सुधरेंगें उनको सुधारने के और भी उपाय है।

श्रीमती अनुपमा जायसवाल ने अपनी पहली सेलरी से प्रदेश मुख्यालय के सभी कर्मचारियों को उपहार दिए। उन्होने बताया कि शिक्षा राजस्व, कानून व्यवस्था से जुडी समस्याएं लेकर लोग आए। अधिकारियों को समस्या समाधान के लिए निर्देशित कर दिया गया है। दो महीने के अल्प समय में ही पूर्ववर्ती सरकारों से विरासत में मिली समस्याओं के समाधान की ओर हम तेजी से बढ़ रहे है।