लखनऊ: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा है कि उन्हें भरोसा है कि मुसलमान उनका साथ देंगे। उन्होंने साफ किया है कि प्रधानमंत्री बनने का उनका कोई सपना नहीं है। वह उत्तर प्रदेश में ही खुश हैं। भविष्य में कांग्रेस से गठबंधन पर कहा कि वर्ष 2019 में होने वाले लोकसभा चुनाव पर बात करना अभी जल्दबाजी होगा।

अखिलेश शनिवार को एक कार्यक्रम में बोल रहे थे। शिवपाल द्वारा चुनाव बाद नई पार्टी बनाए जाने के सवाल पर कहा कि अगर ऐसा करते हैं तो उनकी सपा से सदस्यता समाप्त कर दी जाएगी।

अखिलेश ने कहा कि सपा में पिछले कुछ समय में जो कुछ भी हुआ वो राजनीतिक परिस्थितियों की वजह से हुआ, लेकिन अब सब कुछ ठीक है। पिता के साथ विश्वासघात के आरोप पर कहा कि सपा आज भी नेता जी की है। पिता-पुत्र के संबंध नहीं बदलते। कांग्रेस से गठबंधन पर मुलायम की नाराजगी पर कहा कि ‘गठबंधन पर नेता जी की सहमति भी थी और नाराजगी भी।

उन्होंने फिर साफ किया कि सपा-कांग्रेस गठबंधन मजबूती से चुनाव लड़ रही है और 300 से अधिक सीटें जब जीतेंगे तो सबसे अधिक खुशी नेता जी को ही होगी।

उनकी सरकार ने मुसलमानों के हित के लिए बहुत काम किए हैं। मुस्लिमों को उनकी आबादी के हिसाब से हक देने की कोशिश की है। इसलिए उन्हें विश्वास है कि मुस्लिम मतदाता समाजवादी पार्टी के साथ ही रहेंगे। मुफ्फरनगर दंगे पर अफसोस ज़ाहिर करते हुए आरोप लगाया कि कुछ ताक़ते आज भी माहौल ख़राब करने की कोशिश कर रही है। उनकी सरकार ने दंगे के लिए दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की। लोगों को यह भी देखना चाहिए कि दंगे किसने कराए? दंगा कराने वाले दलों से पूछना चाहिए कि उन्होंने ऐसा क्यों किया?