नई दिल्ली: भोपाल की सेंट्रल जेल से भागे स्टूडेंट्स इस्लामिक मुवमेंट ऑफ इंडिया (सिमी) के आतंकियों के एनकाउंटर के बाद इस पर सियासत शुरू हो गई है। एनकाउंटर पर उठ रहे सवालों को लेकर कई राजनीतिक दलों ने इसके जांच की मांग की है। वहीं प्रदेश के सीएम शिवराज सिंह चौहान ने विपक्षी दलों पर बरसते हुए कहा कैदी जेल से कैसे भागे इसकी जांच एनआईए करेगी, लेकिन एनकाउंटर के जांच की कोई जरूरत नहीं है।

जेल से भागे कैदियों के एनकाउंटर पर उठे रहे सवाल के जवाब में सीएम ने कहा कि लोगों को शहीद रमाशंकर सिंह का बलिदान नहीं दिखता। दो शब्द शहीद के लिए भी बोल देते। लानत है ऐसी राजनीति और नेताओं पर। मुख्यमंत्री ने कहा, वे शहीदों के बारे में कुछ नहीं कहेंगे। ये लोग दुर्दांत आतंकवादी थे। ये मारे गए। हमें नहीं पता, ये बाहर जाकर कितना आतंक फैलाते। फिर भी उनका बचाव किया जा रहा है। मैं इस तरह की राजनीति की निंदा करता हूं।

दरअसल असद्दुदीन ओवैसी ने एनकाउंटर को लेकर कहा था कि आखिर कैदी जेल से भागे कैसे? उनकी जो फोटोज आई हैं, उनमें वे जूते और जींस पहने हुए दिख रहे हैं। क्या जेल में अंडर ट्रायल कैदी को ऐसे रखा जाता है? इसकी जांच होनी चाहिए। ओवैसी ने मांग की थी कि सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में होनी चाहिए। हैदराबाद से सांसद ओवैसी ने कहा कि एसटीएफ और पुलिस चाहती तो जेल से भागने वालों को पकड़ सकती थी। उन पर मुकदमा हो सकता था।