मुंबई : रेल बजट को लेकर शेयर कारोबारियों में निराश रही। बंबई शेयर बाजार का सेंसेक्स आज 261 अंक टूटकर 29,000 अंक के स्तर से नीचे आ गया। यह दो सप्ताह में सेंसेक्स की सबसे बड़ी गिरावट है।

इसके अलावा मासिक डेरिवेटिव अनुबंधों के निपटान की वजह से भी धारणा प्रभावित हुई। रेल माल ढुलाई में 10 प्रतिशत तक वृद्धि के प्रस्ताव से सीमेंट, कोयला व इस्पात कंपनियों के शेयरों में गिरावट आई। ब्रोकरों ने कहा कि रेल मंत्री सुरेश प्रभु ने यात्री किरायों में बढ़ोतरी नहीं की है जिसके बाद बाजार में अटकलें हैं कि शनिवार को पेश किए जाने वाले आम बजट में लोकलुभावन घोषणाएं होंगी।

बंबई शेयर बाजार का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स बेहतर रूख से खुलने के बाद 29,069.13 अंक के दिन के उच्चस्तर तक गया। हालांकि, रेल बजट पेश होने के बाद बाजार बिकवाली दबाव में आ गया। कारोबार के दौरान यह एक समय 28,693.82 अंक के निचले स्तर तक जाने के बाद अंत में 261.34 अंक या 0.90 प्रतिशत की गिरावट के साथ 28,746.65 अंक पर बंद हुआ। सेंसेक्स में 9 फरवरी के बाद यह एक दिन की सबसे बड़ी गिरावट है। उस दिन सेंसेक्स 490.52 अंक टूटा था।

इसी तरह नेशनल स्टाक एक्सचेंज का निफ्टी 83.40 अंक या 0.95 प्रतिशत के नुकसान से 8,700 अंक से नीचे 8,683.85 अंक पर बंद हुआ। कारोबार के दौरान यह 8,669.45 से 8,786.05 अंक के दायरे में रहा। रेल क्षेत्र की कंपनियों के शेयर दबाव में रहे। टेक्समैको रेल में 2.51 प्रतिशत, कालिंदी रेल में निर्माण में 4.05 प्रतिशत, स्टोन इंडिया में 7.01 प्रतिशत, सिम्पलेक्स कास्टिंग्स में 4.26 प्रतिशत व बीईएमएल में 1.65 प्रतिशत की गिरावट आई।