स्पोर्ट्स डेस्क
भारत की रन मशीन यानि विराट कोहली पिछले दो सालों से पानी ख्याति के अनुरूप बल्लेबाज़ी नहीं कर पा रहे हैं. यहाँ तक कि उनपर अब उँगलियाँ भी उतनी शुरू हो गयी हैं, विराट के बल्ले से आखरी शतक 2019 में आया था तब से उनका बल्ला शतक लगाने को तरस रहा है. पिछले कुछ दिनों से विराट कोहली टीम इंडिया से थे लेकिन अब एशिया कप से वापसी कर रहे हैं. कोहली भारत के लिए पिछली तीन सीरीजों में नहीं खेले और अब सीधे एशिया कप में उतरेंगे और पाकिस्तान के खिलाफ मैच से वापसी होगी. इससे पहले हालांकि कोहली ने अपने आप को लेकर कुछ खुलासे किए हैं. उन्होंने बताया कि वह मानसिक तौर पर किस दौर से गुजर रहे थे.

इस मैच से पहले कोहली ने स्टार स्पोर्ट्स से बात करते हुए बताया कि उन्होंने पिछले एक महीने से बल्ला तक पकड़ा था. उन्होंने बताया कि वह काफी थकान महसूस कर रहे थे. कोहली ने कहा, “10 साल में पहली बार, मैंने एक महीने तक अपना बल्ला नहीं पकड़ा. मुझे पता चला कि मैं बीते कुछ समय से अपनी इंटेनसिटी को गलत तरह से बनाए रखने की कोशिश कर रहा हूं. मैं अपने आप को मना रहा था कि नहीं मेरे पास वो इंटेनसिटी है, लेकिन आपका शरीर आपको रुकने के लिए कह रहा है. मेरा दिमाग मुझसे कह रहा था कि ब्रेक लो और आराम करो.”

कोहली ने कहा कि वह मानसिक तौर पर काफी मजबूत हैं लेकिन हर चीज की एक सीमा है. उन्होंने कहा, “मैं एक ऐसा इंसान माना जाता हूं जो मानसिक तौर पर काफी मजबूत है और मैं हूं. लेकिन हर किसी की एक सीमा होती है और आपको उस सीमा को पहचानने की जरूरत है नहीं तो चीजें बिगड़ जाती हैं. इस समय ने मुझे काफी कुछ सिखाया है. ऐसी चीजें जो सामने नहीं आ रही थीं. मैंने उन्हें कबूल किया है.”

कोहली ने इस बात को माना कि वह मानसिक तौर पर परेशान थे. कोहली ने कहा, मुझे इस बात को कबूल करने में कोई परेशानी नहीं है कि मैं मानसिक तौर पर परेशानी महसूस कर रहा था. ये बहुत आम बात है, लेकिन हम बोलते हैं नहीं क्योंकि हम झिझकते हैं. हम नहीं चाहते कि हम मानसिक तौर पर कमजोर माने जाएं.