नई दिल्ली: विभिन्न राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के मुख्यमंत्रियों के साथ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए हुई बैठक में कई राज्यों ने मौजूदा लॉकडाउन के बढ़ाने की वकालत की। हालांकि, कई राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों ने कुछ प्रतिबंधों को बरकरार रखते हुए अर्थव्यवस्था को लेकर अधिक छूट मांगी। सूत्रों का कहना है, जिन राज्यों ने विस्तार की मांग की उनमें पंजाब, तेलंगाना, महाराष्ट्र और पश्चिम बंगाल शामिल हैं।

कोरोना वायरस से निपटने को लेकर प्रधानमंत्री की मुख्यमंत्रियों के साथ यह पांचवीं बैठक थी। पीएम मोदी ने कहा कि धीरे-धीरे ही सही, लेकिन तय रूप से देशभर के कई हिस्सों में आर्थिक गतिविधियां रफ्तार पकड़ रही हैं। आने वाले दिनों में इसमें तेजी आएगी। हमें यह समझना होगा कि कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई अब और अधिक केंद्रित होनी चाहिए। हमें यह भी सुनिश्चित करना होगा कि ग्रामीण भारत इस संकट से बचा रहे। अब यही सबसे बड़ी चुनौती है।

पंजाब के सीएम कैप्टन अमरिंदर ने कहा, ‘कोरोना संक्रमण को देखते हुए लॉकडाउन को बढ़ाया जाए लेकिन सावधानीपूर्वक तैयार की गई स्ट्रैटिजी के साथ। इसमें राज्यों के आर्थिक और राजकोषीय सशक्तिकरण की मदद से जिंदगी और जीविका को बचाने की तैयारी भी होनी चाहिए।’

तेलंगाना के सीएम के चंद्रशेखर राव ने पैसेंजर ट्रेन सेवाओं को फिर से शुरू नहीं करने का आग्रह किया ताकि देश में कोरोनोवायरस के प्रसार को फैलने से रोका जा सके। वहीं, तमिलनाडु के सीएम के पलानीस्वामी ने कहा कि राज्य में 31 मई तक ट्रेन सर्विस की अनुमति नहीं दें।

केरल के मुख्यमंत्री पिनारयी विजयन ने कहा कि राज्यों की शर्तों पर सार्वजनिक परिवहन की अनुमति देने की स्वतंत्रता दी जानी चाहिए।

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कहा कि जरूरी सेवाओं में लगे लोगों के लिए मुंबई लोकल ट्रेनों को फिर से शुरू किया जाना चाहिए।

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने केंद्र से विशेष आर्थिक पैकेज और देश विभिन्न हिस्सों में फंसे हुए सभी प्रवासी प्रवासी मजदूरों को वापस लाने के लिए केंद्रीय सहायता की मांग की। ममता बनर्जी ने केंद्र सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि केंद्र ने राजनीतिक लाभ के लिए बंगाल को निशाना बनाया।

वहीं, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली के सभी हिस्सों में फिर से आर्थिक गतिविधियों को शुरू करने की अनुमति दी जानी चाहिए।

छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि राज्य सरकारों को अपने राज्यों के भीतर आर्थिक गतिविधियों से निपटने के बारे में निर्णय लेने का अधिकार मिलना चाहिए। रेड, ऑरेंज और ग्रीन जोन घोषित करने की जिम्मेदारी उन्हें भी मिलनी चाहिए।