नई दिल्ली: पशुपालन घोटाला मामले में सजायाफ्ता राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद की दिवाली जेल में ही मनेगी, छठ भी जेल में ही गुजारना पड़ेगा। दुमका कोषागार से अवैध निकासी मामले में सुनवाई के दौरान रांची हाई कोर्ट ने जमानत अर्जी पर सुनवाई की अगली तारीख़ 27 नवंबर मुकर्रर कर दी है।

सीबीआई को प्रतिशपथ पत्र दाखिल करने का निर्देश
अपरेश कुमार सिंह की अदालत ने सुनवाई के दौरान 24 नवंबर तक सीबीआई को प्रतिशपथ पत्र दाखिल करने का निर्देश दिया है। दुमका कोषागार से 3.13 करोड़ रुपये अवैध निकासी का मामला ( केस 38 ए , 96) है जिसमें लालू प्रसाद को सात साल की सजा हुई थी जिसमें वे लगभग आधी सजा काट चुके हैं।

देवघर और चाईबासा मामले में मिल चुकी है जमानत
लालू प्रसाद की जमानत से जुड़ा यह अंतिम मामला है। अनुमान लगाया जा रहा था कि आज शुक्रवार को लालू प्रसाद को जमानत मिल सकती है और वे बिहार चुनाव के लिए मतगणना के पूर्व खुली हवा में सांस लेंगे। आधी सजा काट लेने को लेकर देवघर और चाईबासा मामले में उन्‍हें जमानत मिल चुकी है।

रिम्‍स के निदेशक के बंगले में काट रहे हैं सज़ा
फिलहाल लालू प्रसाद रांची के बिरसा मुंडा केंद्रीय कारागार के कैदी हैं। मगर इलाज के नाम पर पिछले दो साल से रिम्‍स ( राजेंद्र आयुर्विज्ञान संस्‍थान) रांची में भर्ती है। इधर दो माह से अधिक से वे रिम्‍स के निदेशक के बंगले में ही रह रहे हैं। कोरोना संक्रमण के कारण लालू प्रसाद को इस खाली बंगले में रखा गया है। सुनवाई की अगली तारीख 27 नवंबर तय होने के बाद वे दीपावली में जेल में ही रहेंगे। 20-21 नवंबर को छठ है। पटना में लालू प्रसाद के परिवार में छठ भी बड़ा भव्‍य तरीके से होता रहा है। छठ में भी लालू प्रसाद को जेल के भीतर ही रहना होगा।