टीम इंस्टेंटखबर
पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को मिली हार के बाद पार्टी के असंतुष्ट नेता जिन्हे जी-23 कहा जाता है, मोर्चा खोले हुए हैं, इस मोर्चे की कल एक मीटिंग हुई जिसमें जी-23 से अलग भी कुछ नेताओं ने शिरकत की. इनमें से एक कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शंकर सिंह वाघेला भी हैं जिनका मानना है कि गाँधी फैमिली के बगैर कांग्रेस पार्टी नहीं चल सकती।
हालाँकि वाघेला इस बात से नाराज़ हैं कि पूरे यूपी की ज़िम्मेदारी प्रियंका गाँधी को क्यों दी गयी. वाघेला के मुताबिक लीडरशिप प्लांट करने की एक आर्ट होती है. लीडर के खाते में क्रेडिट देनी होती है.
शंकर सिंह वाघेला ने कहा कि जी-23 का कोई नेता सोनिया, राहुल और प्रियंका गांधी के खिलाफ नहीं है. वे सिस्टम के खिलाफ हैं.
उन्होंने कहा कि प्रियंका गांधी अमेठी और रायबरेली में पूरी जिम्मेदारी के साथ घूमती थीं. लोगों को उनमें इंदिरा गांधी की झलक दिखती है, लेकिन पूरे यूपी में उनको महासचिव बनाकर प्लांट करना गलत था. यूपी में उतारने की सलाह किसने दी थी पता नहीं.
वाघेला ने कहा कि कांग्रेस देश के हित में जरूरी है. कांग्रेस की विचारधारा ही देश को टूटने से बचा सकती है, इसलिए कांग्रेस देश के हर हिस्से में जरूरी है.
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