लखनऊ : जिले के रेवती थाना क्षेत्र के दुर्जनपुर ग्राम में सरकारी सस्ते गल्ले के दुकान के आवंटन के दौरान गोलीबारी में एक व्यक्ति की हत्या के मामले में एसटीएफ ने मुख्य आरोपी धीरेंद्र सिंह को लखनऊ से गिरफ्तार किया। इस मामले में अब तक पांच लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है। धीरेंद्र सिंह ने शनिवार को बलिया की एक अदालत में सरेंडर एप्लीकेशन लगाई थी, जिसके बाद से कयास लगाए जा रहे थे कि वह कभी भी आत्मसमर्पण कर सकता है|

पुलिस ने घोषित कर रख था इनाम
पुलिस ने फरार आरोपियों के विरुद्ध इनाम घोषित किया था तथा उनके विरुद्ध रासुका व गैंगस्टर के अंतर्गत कार्रवाई की घोषणा की । पुलिस के मुताबिक शनिवार को तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है जबकि शुक्रवार को दो की गिरफ़तारी की गयी थी।

निर्दोष होने का किया था दावा
आरोपी धीरेंद्र प्रताप सिंह ने स्वयं को निर्दोष करार देते हुए दावा किया था कि रेवती की घटना में उसके परिवार के एक व्यक्ति की भी मौत हो गई है तथा आधा दर्जन लोग घायल हैं । धीरेंद्र प्रताप सिंह डब्ल्यू ने सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर शुक्रवार रात जारी वीडियो में स्वयं को पूर्व सैनिक संगठन का अध्यक्ष बताया । उसने घटना को पूर्व नियोजित करार देते हुए कहा है कि उसने आवंटन के लिये बैठक शुरू होते ही उप जिलाधिकारी, पुलिस उपाधीक्षक व अन्य अधिकारियों से बवाल होने की संभावना जताई थी, लेकिन अधिकारियों ने उसकी बात पर कोई ध्यान नही दिया ।

पुलिस पर मिली भगत का आरोप
उसने अधिकारियों पर दूसरे पक्ष से मिलीभगत का आरोप लगाते हुए दावा किया है और कहा कि कि इस घटना में उसके परिवार के एक व्यक्ति की मौत होने की सूचना उसे मिली है । उसने कहा है कि उसे नही जानकारी है कि जय प्रकाश पाल गामा की मौत किसकी गोली लगने से हुई है । उसने प्रशासन पर उत्पीड़न करने का आरोप लगाते हुए कहा है कि उसकी शिकायत पर पुलिस मुकदमा दर्ज नही कर रही ।