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बरेली में कांग्रेस पार्टी की ओर से महिला मैराथन का आयोजन किया गया था जिसमें महिलाओं के साथ हजारों छात्राओं ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। मैराथन के दौरान भगदड़ जैसी स्थिति पैदा हो गई, जिसमें मंगलवार को तीन लड़कियां घायल हो गईं। कांग्रेस ने आरोप लगाया कि यह घटना जिला प्रशासन की ओर से ढिलाई और एक साजिश का नतीजा है।

सिटी मजिस्ट्रेट राजीव पांडे ने कहा, “200 बच्चों के लिए अनुमति दी गई थी। हालांकि, वास्तव में इस आयोजन के लिए आने वालों की संख्या बहुत अधिक थी।” उन्होंने कहा कि घटना की पूरी जांच की जाएगी और दोषियों के खिलाफ कार्रवाई शुरू की जाएगी। उन्होंने कहा कि मैराथन में भाग लेने वाली तीन लड़कियां घायल हो गईं और उन्हें जिला अस्पताल भेजा गया है। पांडे ने कहा, “भगदड़ जैसी स्थिति का क्या कारण था? ढिलाई क्या थी? वहां बड़ी संख्या में बच्चे कैसे जमा हो गए, और उच्च शिक्षा विभाग द्वारा दी गई अनुमति कुछ ऐसे पहलू हैं जिनकी जांच की जाएगी।”

अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की राष्ट्रीय महासचिव एवं उत्तर प्रदेश प्रभारी प्रियंका गांधी की ओर से दिए गए नारे मैं लड़की हूं लड़ सकती हूं के अंतर्गत इस कार्यक्रम का आयोजन किया गया था। लंबी दूरी की दौड़ में भाग लेने वाले बड़ी संख्या में सुबह 9 बजे स्कूल के मैदान में जमा हुए थे और दौड़ में, प्रतिभागी ठोकर खाकर एक-दूसरे पर गिर गए।

भगदड़ को लेकर पूर्व मेयर सुप्रिया एरन ने कहा कि जब वैष्णो देवी में भगदड़ मच सकती है तो यहां क्यों नहीं। इसके साथ ही उन्होंने इस भगदड़ के पीछे किसी की साजिश होने की भी बात कही। कहा कि जिस तरह से प्रदेश में हमारी पार्टी का जनाधार बढ़ रहा है उसको देखते हुए इस कार्यक्रम को असफल बनाने के लिए साजिश भी की जा सकती है।