शेन वाटसन को शार्टर फार्मेट में ऑस्ट्रेलिया को जबर्दस्त खिलाड़ी माना जाता है। बल्‍ले और गेंद, दोनों से ही वे मैच का परिणाम बदलने की क्षमता रखते हैं, लेकिन इस ऑस्ट्रेलियाई हरफनमौला की इंटरनेशनल क्रिकेट से विदाई रविवार को हार की कड़वी यादों के साथ हुई। वाटसन टी-20 वर्ल्डकप के बाद क्रिकेट से संन्यास लेने की घोषणा कर चुके हैं। टीम इंडिया के खिलाफ मिली हार के साथ ही उनके इंटरनेशनल क्रिकेट करियर पर ‘फुलस्टाप’ लग गया। टीम इंडिया ने रविवार का मुंकाबला शानदार अंदाज में छह विकेट से जीता। खिलाड़ी के रूप में भी वाटसन के लिए यह मैच ऐसा रहा जिसे वे शायद ही याद रखना चाहेंगे। आखिरी के ओवरों में वे कंगारू टीम की रनगति को उतना तेज नहीं कर पाए, जितनी कि लंबे आसमानी शॉट लगाने वाले इस खिलाड़ी से अपेक्षा की जा रही थी। भारतीय तेज गेंदबाजों की तिकड़ी नेहरा, बुमराह और हार्दिक पांड्या ने उन्‍होंने हाथ खोलने का मौका नहीं दिया। अपनी 16 गेंदों की पारी में ‘वाटी’ दो चौकों की मदद से महज 18 रन बना पाएलेकिन इस भरपाई उन्होंने गेंदबाजी से पूरी की। वाटसन ने अपने कोटे के चार ओवर में महज 23 रन देकर दो विकेट लिए। उनके कटर्स पर तेजी से रन बनाना भारतीय बल्लेबाजों को काफी मुश्किल साबित हो रहा था। यही नहीं, युवराज सिंह का कैच भी वाटसन ने ही लपका। गौरतलब है वाटसन वर्ष 2007 और 2015 के वर्ल्डकप की विजेता ऑस्ट्रेलियाई टीम के सदस्‍य रह चुके हैं। वाटसन पिछले साल टेस्‍ट क्रिकेट से संन्यास ले चुके हैं।