लखनऊ : भारत सरकार के वित्त मंत्री श्री अरूण जेटली द्वारा आज संसद में प्रस्तुत आम बजट पूरी तरह निराशाजनक है।

उ0प्र0 कंाग्रेस कमेटी के अध्यक्ष डॉ0 निर्मल खत्री, पूर्व संासद ने कहा कि लघु एवं मध्यम आय वर्ग के लिए यह बजट पूरी तरह निराश करने वाला है क्योंकि आयकर सीमा में छूट को जस का तस रखा गया हैं। फूड प्रोसेसिंग पर 100प्रतिशत एफडीआई (प्रत्यक्ष विदेशी पूंजीनिवेश) की घोषणा से छोटे-छोटे उद्योग एवं कुटीर उद्योग मार्केट से समूल रूप से गायब हो जायेंगे क्योंकि विदेशी कम्पनियों का वह मुकाबला नहीं कर पायेंगे।  देश में 95प्रतिशत किसान लघु एवं सीमान्त हैं मात्र 5 प्रतिशत किसान बड़े-बड़े फार्म वाले हैं। किसानों के लिए 100 प्रतिशत एफडीआई का लाभ किसानों को नहीं मिलेगा। इसलिए इस बजट से किसानों का कोई हित होने वाला नहीं है। उद्योगों के विकास के लिए कोई प्रावधान नहीं है। सभी प्रकार के सेवाओं में 0.5प्रतिशत कृषि कल्याण सेस लगाये जाने से मंहगाई रोकने के बजाय मंहगाई बढ़ाई गयी है। कुल मिलाकर यह बजट न किसान के पक्ष में है, न बेरोजगार, नौजवान के हित में और न ही उद्योगों के हित में है। बजट पूरी तरह निराशाजनक है।