नई दिल्ली: पंजाब में अगले साल चुनाव होने हैं लेकिन राजनीतिक पार्टियां अभी से तैयारियों में जुट गई हैं। पिछले 10 साल से पंजाब की सत्ता से दूर कांग्रेस को चुनाव से करीब एक साल पहले ही एक बड़ी सफलता हाथ लगी है। सूत्रों के मुताबिक मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल के भतीजे मनप्रीत बादल ने अपनी पंजाब पीपल्स पार्टी (पीपीपी) का कांग्रेस में विलय करा दिया है।
बता दें कि मनप्रीत ने 2011 में नाराज होकर प्रकाश सिंह बादल के शिरोमणि अकाली दल से अलग पंजाब पीपुल्स पार्टी बना ली थी। उस समय वह राज्य सरकार में वित्त मंत्री का कार्यभार संभाल रहे थे। मनप्रीत चार बार विधायक रह चुके हैं, हालांकि 2012 के पिछले चुनाव में उन्हें हार का मुंह देखना पड़ा था। उन्होंने भाकपा और शिअद (लोंगोवाल) के साथ मिलकर एक सांझा मोर्चा बनाया था, लेकिन इस मोर्चे का वोट शेयर 6 फीसदी से आगे नहीं बढ़ पाया।
अभी तक मनप्रीत बादय या कांग्रेस की ओर से इस संबंध में कोई आधिकारिक ऐलान तो नहीं किया गया है, लेकिन मनप्रीत गुरुवार शाम कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से मिले हैं। शुक्रवार सुबह उनकी कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी से भी मुलाकात हुई है।
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