नई दिल्ली। अगर आपका आधार डेटा कोई आपकी इजाजत के बिना खोलेगा, तो इस अपराध में उसे 10 साल तक की जेल हो सकती है। सरकार यूनीक आइडेंटिफिकेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया (यूआईडीएआई) प्रोजेक्ट के तहत जुटाए बायोमीट्रिक डेटा की गोपनीयता को सुरक्षित रखने के कदम उठा रही है।

सरकार ने ज्यादा से ज्यादा सेवाओं को आधार के दायरे में लाने की स्ट्रैटेजी बनाने के काम की अगुवाई का जिम्मा केबिनेट सचिव को दिया है। इसके तहत अधिकृत कर्मियों के अलावा यदि कोई भी यूआईडीएआई सिस्टम का उपयोग करता या करने की कोशिश करता है, उसे 10 साल तक की जेल और जुर्माना की सजा हो सकती है।