बरेली। आसाराम के यौन उत्पीड़न केस में अहम गवाह कृपाल सिंह की हत्या के मामले में गिरफ्तार नारायण पांडे ने चौंकाने वाला खुलासा किया है। पांडे ने पुलिस के समक्ष स्वीकार किया है कि कृपाल सिंह पर हमले में उसका ही हाथ था। पांडे ने बताया कि आसाराम के पास 2000 समर्थकों का फिदायीन जैसा दस्ता है। इसका मिशन है आसाराम के जिंदा रहना और उनके लिए ही अपनी जान दे देना। यह दस्ता हर उस व्यक्ति को मार देगा जो आसाराम के खिलाफ खड़ा होगा।

पांडे के खुलासे के बाद पुलिस ने शाहजहांपुर की उस लड़की की सुरक्षा कड़ी कर दी जिसने आसाराम के खिलाफ बलात्कार का केस दर्ज कराया था। गौरतलब है कि 10 जुलाई को कृपाल सिंह की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। सदर बाजार पुलिस स्टेशन के इंस्पेक्टर जेपी तिवारी ने कहा, पांडे के कबूलनामे को परखने के बाद लग रहा है कि और खून खराबा हो सकता है। पांडे और उसके सहयोगी पीडिता और उसके पिता का खून बहाने की कोशिश कर सकते है।

पांडे को 22 जुलाई को जयपुर से गिरफ्तार किया गया था। आसाराम ने जोधपुर के पास स्थित आश्रम में नाबालिग से बलात्कार किया था। आसाराम फिलहाल जोधपुर की सेंट्रल जेल में कैद है। तिवारी के मुताबिक पांडे ने बताया कि अति प्रेरित और समर्पित समर्थक ग्रुप ने आसाराम के लिए जिंदा रहने और उन्हीं के लिए मरने को अपना मिशन बनाया है। ग्रुप ने ठान लिया है कि जो भी आसाराम के खिलाफ खड़ा होता हुआ दिखाई देगा उसकी हत्या कर देंगे।

पुलिस के मुताबिक पांडे मैट्रिक पास है। वह अपनी पढ़ाई छोड़कर आसाराम का भक्त बन गया था। हालांकि उसके पिता सरकारी कर्मचारी हैं और वह पांडे की आगे की पढ़ाई का खर्च उठा सकते थे। पांडे ने जो खुलासे किए हैं उससे बरेली पुलिस चिंता में पकड़ गई है। शाहजहांपुर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक बबलू कुमार ने कहा कि पांडे के खुलासे पर फिलहाल कोई प्रतिक्रिया नहीं दे सकते लेकिन हम उसकी ओर से दी गई जानकारी और संकेतों पर काम कर रहे हैं। हमने मामले से जुड़े सभी गवाहों को पर्सनल गनर्स मुहैया कराए हैं। साथ ही भविष्य में कोई अप्रिय वारदात ना हो इसलिए गवाहों के घरों पर हथियारबंद गार्ड तैनात किए हैं।