नई दिल्ली: दिल्ली सरकार ने सोमवार से हड़ताल कर रहे दिल्ली परिवहन निगम यानी डीटीसी के कर्मचारियों पर Essential Services Maintenance Act यानी एस्मा लगा दिया है। दिल्ली सरकार ने कर्मचारियों से हड़ताल खत्म करने की अपील की थी, लेकिन कर्मचारी अपनी मांगें पूरी होने तक हड़ताल जारी रखने की ज़िद पर अड़े रहे, जिसके बाद सरकार ने यह कदम उठाया है।

राजधानी में सड़कों से डीटीसी बसों के नदारद रहने से पब्लिक ट्रांसपोर्ट से सफर करने वालों को लगातार दूसरे दिन भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। हालांकि आज दो हज़ार बसों के सड़कों पर उतरने का दावा किया जा रहा है, लेकिन यह रोज़ाना के मुकाबले काफी कम है।

मेट्रो स्टेशनों के बाहर लंबी कतारें देखी जा रही हैं और शहर के अलग-अलग हिस्सों से ऑटो चालकों की ओर से ज्यादा किराया लिए जाने की बातें भी सामने आ रही हैं। डीटीसी बसों की सेवा लेने वाले कई स्कूलों ने अभिभावकों से कहा है कि बच्चों को स्कूल लाने और ले जाने के लिए वे खुद इंतजाम करें।

मिलेनियम बस डिपो में हड़तालियों और दिल्ली पुलिस के बीच हल्की झड़प भी हुई है। दरअसल दिल्ली पुलिस कर्मचारियों की मीटिंग का वीडियो बना रही थी, जिससे कर्मचारी नाराज हो गए।

गौरतलब है कि रविवार को रोडरेज में एक डीटीसी बस ड्राइवर की हत्या के विरोध में ये लोग हड़ताल पर हैं। पश्चिमी दिल्ली के मुंडका इलाके में एक युवक ने रविवार को 42 साल के बस चालक अशोक कुमार की कथित तौर पर पीट-पीटकर हत्या कर थी। युवक की बाइक को बस से टक्कर लगने के बाद कहासुनी हुई और फिर यह घटना हुई। हड़ताली कर्मचारियों की मांग है कि मारे गए ड्राइवर के परिवार को 1 करोड़ रुपये का मुआवज़ा और दोषियों को कड़ी सज़ा दी जाए।