अहमदाबाद: गुजरात के अहमदाबाद में 'वर्तमान विश्व परिदृश्य में भारत की भूमिका' विषय पर बोलते हुए संघ प्रमुख मोहन भगवत ने कहा कि भौतिक सुविधाओं में वृद्धि के बावजूद आज हर कोई नाख़ुश है और आंदोलन कर रहा है। चाहे वह मालिक हो या नौकर, विपक्षी दल हो या आम आदमी, छात्र हो या शिक्षक, हर कोई नाखुश और असंतुष्ट है।

उन्होंने कहा कि भारत को ज्ञान देना है ताकि ज्ञान फैले लेकिन मनुष्य रोबोट न बने। हमने हमेशा वैश्विक परिवार की बात की है न कि वैश्विक बाज़ार की। भागवत ने कहा कि वर्तमान दौर में कट्टरता, हिंसा और आतंकवाद बढ़ रहा है।

संघ प्रमुख ने कहा कि यह सोचना अर्द्धसत्य है कि हम बेहतर दुनिया में जी रहे हैं। सुविधाएं समान रूप से सबको हासिल नहीं हो रही हैं। जंगल का नियम चल रहा है। आगे बढ़ने के लिए सक्षम व्यक्ति कमज़ोर को दबा रहा है।

मोहन भागवत ने कहा कि अमेरिका और रूस सुपरपावर हैं। चीन भी सुपर पावर बन जाएगा। सुपर पावर राष्ट्रों ने दूसरों के लिए क्या किया? अपने एजेंडा के लिए वे दूसरे देशों पर नियंत्रण कर लेते हैं। ये सुपर पावर तभी लौटाना शुरू करते हैं जब उन्हें ऐसा करने के लिए कहा जाता है।