नईदिल्ली: जम्मू-कश्मीर से डीएसपी देविंदर सिंह की गिरफ्तारी पर पीएम नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार को चौतरफा घेरने में जुटे कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने एक बार फिर हमला बोला है। शुक्रवार (17 जनवरी, 2020) सुबह किए एक ट्वीट में वायनाड से कांग्रेस सांसद ने कहा, ‘आतंकी डीएसपी देविंदर सिंह को चुप कराने का सबसे अच्छा तरीका है, मामले की जांच एनआईए को सौंप देना।’

सिंह को बीते सप्ताह जम्मू-कश्मीर के कुलगाम जिले में दो आतंकियों और एक वकील के साथ गिरफ्तार किया गया था। सरकार पर निशाने साधते हुए राहुल गांधी ने ट्वीट में आगे कहा, ‘एनआईए के मुखिया एक मोदी (वाईके) ही हैं। जिन्होंने गुजरात दंगों और हरेन पांड्या हत्याकांड की जांच की। उनकी निगरानी में केस शांत हो चुका है। कौन चाहता है कि आंतकी देविंदर शांत हो जाए? और क्यों??’

राहुल गांधी ने गुरुवार को एक अन्य ट्वीट में भी सिलसिलेवार सवालों के जरिए मोदी सरकार को घेरने की कोशिश की। ट्वीट में उन्होंने पूछा, ‘देविंदर सिंह पर प्रधानमंत्री, गृहमंत्री, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार क्यों शांत हैं? पुलवामा आंतकी हमले में देविंदर सिंह का क्या रोल था? अब तक वो कितने आतंकियों की मदद कर चुका है? कौन उसे बचा रहा था और क्यों?’ ट्वीट में राहुल गांधी ने कहा, ‘डीएसपी देविंदर सिंह ने तीन आतंकवादियों को शरण दी और उन्हें दिल्ली लाते हुए पकड़ा गया। तीनों के हाथ खून से सने हुए हैं।’

ट्वीट में राहुल गांधी ने मांग की देविंदर सिंह के खिलाफ फास्ट ट्रैक कोर्ट में केस चलाया जाना चाहिए। छह महीने के भीतर सुनवाई पूरी करके देशद्रोह के लिए कड़ी से कड़ी सजा देनी चाहिए।

जानना चाहिए की देविंदर सिंह को सस्पेंड कर दिया गया है और अब उसे बर्खास्त करने की तैयारी चल रही है। जम्मू-कश्मीर के डीजीपी दिलबाग सिंह ने कहा कि पूछताछ में बातें सामने आईं हैं उन्हें अभी सार्वजनिक नहीं किया जा सकता।

उन्होंने कहा कि हमने देविंदर सिंह को सस्पेंड कर दिया गया है। हम उन्हें बर्खास्त करने के लिए सरकार को शिफारिश भेज रहे हैं। जम्मू-कश्मीर पुलिस ने मामले की जांच एनआईए से कराने की शिफारिश भी की है।