नई दिल्ली: इराक में मौजूदा स्थिति को देखते हुए भारतीयों को अगले आदेश तक इराक की यात्रा नहीं करने की सलाह दी गई है। विदेश मंत्रालय द्वारा जारी विज्ञप्ति में इराक में रह रहे भारतीय नागरिकों को सतर्क रहने और वहां यात्रा न करने की सलाह दी गई है। बगदाद में हमारे हाई कमीशन और इरबिल स्थित काउंसुलेट सामान्य कामकाज जारी रखेंगे और इराक में रह रहे भारतीयों को सभी प्रकार की सेवाएं जारी रखेंगे। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने ट्वीट कर कहा, "इराक में मौजूदा स्थिति को देखते हुए, भारतीय नागरिकों को सलाह दी जाती है कि वे आगे की अधिसूचना तक इराक की सभी गैर-आवश्यक यात्रा से बचें। इराक में रहने वाले भारतीय नागरिकों को सतर्क रहने की सलाह दी गई है।" एक और ट्वीट में कुमार ने कहा कि बगदाद में भारतीय दूतावास और एरबिल में भारतीय वाणिज्य दूतावास इराक में रहने वाले भारतीयों को सभी सेवाएं प्रदान करने के लिए सामान्य रूप से काम करना जारी रखेंगे।

अमेरिकी बेस पर ईरान के मिसाइल हमले की घटनाओं ने हवाई परिवहन को प्रभावित किया है। इस बीच कई विमानों ने सुरक्षा को देखते हुए अपना रूट डायवर्ट किया है। मलयेशिया, एशियन एयरलाइंस और सिंगापुर एयरलाइंस ने अपने विमानों का रास्ता बदला है। भारत ने भी अपने विमानों को ईरान, खाड़ी देशों और इराक के एयरस्पेस का इस्तेमाल नहीं करने के लिए एडवाइजरी जारी की है। इसके अलावा भारत सरकार ने मौजूदा स्थिति को देखते हुए भारतीयों को अगले आदेश तक इराक की यात्रा नहीं करने की सलाह दी है।

नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (डीजीसीए) के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बुधवार सुबह कहा, "हमने संबंधित एयरलाइंस के साथ बैठक की और उन्हें सतर्क रहने और सभी सावधानियां बरतने के लिए कहा है।"

वहीं सिंगापुर एयरलाइंस ने सूचना जारी कर कहा कि तेहरान एयरस्पेस से गुजरनेवाले विमानों को डायवर्ट किया जा रहा है। ईरान द्वारा यूएस एयरबेस पर हमले के बाद यात्रियों की सुरक्षा को ध्यान में रखकर हमने यह कदम उठाया है। ताईवान की चाइना और ईवा एयरलाइंस ने भी अपना मार्ग बदला है। मलयेशिया की एयरलाइन कंपनियों ने भी विमान का रूट बदलने की पुष्टि की है।

ईरान द्वारा इराक में दो अमेरिकी बेस पर मिसाइल हमले के बाद क्षेत्र में स्थिति बेहद तनावपूर्ण हो गया है। वहीं ईरान के तेहरान में एक बड़ा विमान हादसा हुआ है। 180 यात्रियों और क्रू मेंबर्स को लेकर जा रहा यूक्रेन के विमान के क्रैश होने की खबर है। इसके साथ ही न्यूक्लियर प्लांट वाले क्षेत्र बुशहर में भूकंप के झटके की भी सूचना है। इन सब कारणों से कई देशों की विमानन कंपनियों ने यह फैसला लिया है।