लखनऊ: उत्तरप्रदेश की राजधानी लखनऊ में हिंदूवादी नेता कमलेश तिवारी की हत्या के बाद बवाल बढ़ता ही जा रहा है। इस मामले में शनिवार को पहली गिरफ्तारी हुई है। इस मामले में पुलिस ने मौलाना अनवारुल हक को गिरफ्तार किया है। साल 2015 में अनवरुल ने कमलेश तिवारी का सिर कलम करने पर 51 लाख का ईनाम रखा था। अनवारुल को थाना नगीना के आशियाना कॉलोनी से गिरफ्तार किया गया है। इसके अलावा गुजरात के सूरत से भी 7 संदिग्ध लोगों को हिरासत में लिया गया है और उनसे पूछताछ की जा रही है।

पति की हत्या के बाद किरन तिवारी ने शिकायत में बताया था कि तीन वर्ष पहले 2016 में बिजनौर के इमाम मौलाना अनवारुल हक व मोहम्मद मुफ्ती नमीम काजमी ने ऐलान किया था कि जो कमलेश तिवारी का सिर कलम करने वाले को डेढ़ करोड़ रुपए का इनाम देने की घोषणा की थी। इसी आधार पर किरन ने दोनों मौलवियो के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कराया है।

कमलेश तिवारी के परिजनों ने परिवार के दो सदस्यों के लिए नौकरी की मांग की है। साथ यह भी कहा है कि जब तक मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ स्वयं यहां नहीं आएंगे वे दाह संस्कार नहीं करेंगे। वहीं, मृतक कमलेश तिवारी की पत्नी का कहना है कि हमारी मांग नहीं मानी गई तो मैं आत्मदाह कर लूंगी।

कमलेश तिवारी की हत्या को लेकर परिजनों और स्थानीय लोगों में काफी नाराजगी है। पुलिस शुक्रवार देर रात पोस्टमॉर्टम के बाद कमलेश तिवारी का शव उनके कार्यालय लेकर पहुंची, लेकिन वहां लोगों का गुस्सा और विरोध देखते हुए पुलिस शव लेकर उल्टे पांव लौट गई। बाद में पुलिस कमलेश तिवारी के शव को लेकर उनके पैतृक जिले सीतापुर के महमूदाबाद के लिए रवाना हो गई।

लखनऊ में दो बदमाशों ने दिनदहाड़े हिन्दू समाज पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष कमलेश तिवारी की गोली मारकर हत्या कर दी। इससे गुस्साए लोगों ने खुर्शीदाबाग और नाका हिंडोला क्षेत्र में सड़क जाम कर प्रदर्शन किया और वाहनों में तोड़फोड़ भी की। मामले के खुलासे के लिए पुलिस ने क्राईम ब्रांच सहित अन्य टीमों को लगाया है।

इस मामले में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एसआईटी का गठन किया है। एसआईटी में लखनऊ के आईजी एसके भगत, लखनऊ के एसपी क्राइम दिनेश पूरी और एसटीएफ के डिप्टी एसपी पीके मिश्रा शामिल हैं। इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने कमलेश तिवारी हत्याकांड में प्रमुख सचिव गृह और डीजीपी से रिपोर्ट भी मांगी है। बताया जा रहा है कि तीन संदिग्धों का एक सीसीटीवी फूटेज भी सामने आया है।

नाका के खुर्शीदाबाग निवासी कमलेश तिवारी की दोपहर कार्यालय पर आए दो बदमाशों ने गोली मारकर हत्या कर दी। बदमाश कमलेश के परिचित थे और उन्होंने करीब 36 मिनट तक आपस में बातचीत की। इस दौरान दही बड़ा खाए और चाय पी। एकमात्र चश्मदीद नौकर को बदमाशों ने सिगरेट लाने के लिए भेजा। इसके बाद कमलेश तिवारी ने नौकर को मसाला लाने के लिए भेजा और जब तक नौकर आता, तब तक वह हत्या कर फरार हो गए। आनन-फानन में परिवारीजनों ने उन्हें ट्रामा सेंटर में भर्ती कराया, जहां उन्हें डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया।

पुलिस टीम सेलफोन की डिटेल खंगालने के साथ सर्विलांस की मदद से आरोपियों की तलाश में जुटी है। दो लोगों ने पहले कमरे में चाय पी फिर मिठाई के डिब्बे से कट्टा निकालकर फायर किया।

डीआईजी लॉ एंड आर्डर विजय भूषण ने 24 घंटे में घटना का पर्दाफाश करने का वादा किया है । सीसीटीवी फुटेज सहित कई सुराग मिले हैं। मामले में अभी तक पांच लोगों के नाम प्रकाश में आए हैं। प्रथम दृष्टया आरोपी बदमाश कमलेश तिवारी के परिचित लग रहे हैं। कुछ मामलों में कमलेश तिवारी के खिलाफ भी मुकदमे हैं। पुलिस सभी बिंदुओं को ध्यान में रखकर जांच कर रही है।