भोपाल: मध्य प्रदेश सरकार ने अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के लिए आरक्षण कोटा को मौजूदा 14 प्रतिशत से बढ़ाकर 27 प्रतिशत करने का प्रस्ताव पारित किया है।
भोपाल: मध्य प्रदेश सरकार ने अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के लिए आरक्षण के मौजूदा कोटा बढ़ा दिया है। कैबिनेट ने आरक्षित कोटा 14 फीसदी से बढ़ाकर 27 फीसदी करने को मंजूरी दे दी है। सोमवार को मुख्यमंत्री कमलनाथ की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक के दौरान इस प्रस्ताव को मंजूरी दी गई। इसके बाद इसे विधानसभा के मानसून सत्र में पटल पर रखा जाएगा।

मध्य प्रदेश के कानून मंत्री पीसी शर्मा ने मीडिया से बात करते हुए कहा, 'चुनाव से पहले मुख्यमंत्री जी ने ओबीसी को जो 27 प्रतिशत आरक्षण देने की घोषणा की थी जिसका प्रस्ताव आज पारित किया गया। अगले विधानसभा सत्र में आकर यह कानून बन जाएगा।' राज्य में अनुसूचित जातियों तथा जनजातियों को 36 फीसदी आरक्षण मिल रहा था। इसके बाद राज्य सरकार को अपने सभी विभागों में भर्ती के नियमों में बदलाव करना होगा। पिछले साल मध्य प्रदेश में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान शिवराज सिंह चौहान को अगड़ी जातियों एवं अनुसूचित जातियों दोनों के विरोध-प्रदर्शनों का सामना करना पड़ा था और बाद में सरकार को इसका खामियाजा भगुतना पड़ा था।

एससी-एसटी एक्ट पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के खिलाफ दलित संगठनों ने प्रदर्शन किया जबकि इस एक्ट में संशोधन के खिलाफ अगड़ी जातियों ने अपना विरोध जताकर शिवराज सिंह को मुश्किल में डाल दिया।

विधानसभा चुनाव के नतीजों के बाद केंद्र की मोदी सरकार ने सवर्णों को आरक्षण का ऐलान कर बड़ा दांव चला था। 2019 की पहली कैबिनेट बैठक में मोदी सरकार ने बड़ा फैसला लेते हुए गरीब सवर्णों को 10 फीसदी आरक्षण देने की व्यवस्था कर दी।