लखनऊ: एक तरफ जहां सपा-बसपा गठबंधन ने अमेठी और रायबरेली में अपने प्रत्याशी को न उतारकर कांग्रेस को वाकओवर देने की कोशिश की है तो वहीं दूसरी तरफ सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव का बार-बार दोहरा चरित्र देखने को मिल रहा है। उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा है कि समाजवादियों को सबसे अधिक कांग्रेस के लोगों ने धोखा दिया है।

अखिलेश ने कहा,' देश में अगर समाजवादियों को कभी किसी ने धोखा दिया है तो कांग्रेस के लोगों ने हमें धोखा दिया है। ये सही है कि हमारा गठबंधन था लेकिन हमें नहीं पता था कि कांग्रेस में ज्यादा घमंड है। गठबंधन में कुछ नहीं होता, घमंड ज्यादा बड़ी चीज है।'

गौरतलब है कि 2017 में कांग्रेस और समाजवादी पार्टी का उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव में गठबंधन हुआ था। गठबंधन के तहत दोनों दलों ने मिलकर विधानसभा चुनाव लड़ा था लेकिन नतीजों में असफलता हासिल हुई थी। कांग्रेस को जहां 7 सीटों पर जीत हासिल हुई थी तो वहीं समाजवादी पार्टी को 47 सीटों पर विजय प्राप्त हुई थी। इसके बाद दोनों दल अलग हो गए थे। हालांकि लोकसभा चुनाव के पहले दोनों दल फिर से साथ आने का प्रयास कर रहे थे लेकिन बात नहीं बनी। इसके बाद समाजवादी पार्टी, बहुजन समाजवादी पार्टी और आरएलडी का महागठबंधन हुआ जिसके तहत सपा 37, बसपा 38 और आरएलडी 5 सीटों पर चुनाव लड़ रही है। जबकि कांग्रेस महागठबंधन में शामिल नहीं है।

ऐसा नहीं है कि अखिलेश यादव ही कांग्रेस पर निशाना साध रहे हैं, बसपा प्रमुख और पूर्व मुख्यमंत्री मायावती भी कई मौकों पर कांग्रेस पर निशाना साधती रही हैं। बीते साल मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ के विधानसभा चुनावों के दौरान भी मायावती ने कांग्रेस और बीजेपी की तुलना सांप और छछुंदर से की थी। हालांकि बाद में एमपी और राजस्थान में बहुमत न हासिल होने पर सपा और बसपा ने कांग्रेस को समर्थन दिया था।