नई दिल्ली: मशहूर फिल्म अभिनेत्री और मथुरा से सांसद हेमामालिनी की एक तस्वीर बीते दिनों काफी चर्चा में रही थी। इस तस्वीर में हेमामालिनी मथुरा में चुनाव प्रचार के दौरान खेतों में काम कर रहीं कुछ महिलाओं के साथ फसल काटते हुए दिखाई दी थी। इसके साथ ही हेमामालिनी एक अन्य तस्वीर में ट्रैक्टर पर बैठी दिखाई दी थी। हेमामालिनी की इन तस्वीरों पर सोशल मीडिया पर उन्हें खूब ट्रोल किया गया और इन्हें प्रचार के चुनावी हथकंडे और अभिनय बताया गया। बता दें कि हेमामालिनी को भाजपा ने एक बार फिर से मथुरा से टिकट दिया है। अब जब इस बारे में हेमामालिनी से बात की गई तो उन्होंने खुद यह बात स्वीकार की और कहा कि उन्हें फसल काटने की एक्टिंग करने में बड़ा मजा आया। हेमामालिनी ने कहा कि ‘मुंबई में इस तरह खेत या फसलें नहीं दिखायी देती। इसलिए जब चुनाव प्रचार के दौरान गांव में जाती हैं तो इस तरह का माहौल दिखता है। तो खेत में जाकर अगर मैंने फसल काटने का एक्टिंग भी किया है तो मुझे बड़ा मजा आया, इसमें कौन सी बुरी बात है।’

बता दें कि इस बार हेमामालिनी को मथुरा से जीत दर्ज करने के लिए कड़े मुकाबले का सामना करना पड़ रहा है। इस बात का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि हेमामालिनी ने जब मथुरा से नामांकन किया था, तो उसके बाद योगी आदित्यनाथ के साथ उन्होंने एक जनसभा को संबोधित किया था। लेकिन इस जनसभा में योगी की मौजूदगी के बावजूद बड़ी संख्या में कुर्सियां खाली रहीं थी। इसके अलावा सपा-बसपा-रालोद के गठबंधन के चलते भी मथुरा सीट पर मुकाबला कड़ा हो गया है।

गठबंधन के तहत मथुरा सीट रालोद के खाते में गई है और रालोद ने यहां से कुंवर नरेंद्र सिंह को अपना उम्मीदवार बनाया है। मथुरा में जाट और मुस्लिम मतदाताओं का दबदबा है। बीते लोकसभा चुनावों में ये दोनों ही मतदाता रालोद से छिटक गए थे, जिसका सीधा फायदा भाजपा को मिला था। इस बार स्थिति बदली हुई है। वहीं भाजपा के स्वर्ण मतदाताओं में सेंध लगाने के लिए कांग्रेस ने यहां से महेश पाठक को टिकट दिया है। हालांकि चुनाव प्रचार के दौरान हेमामालिनी खूब प्रयास कर रही हैं और गांव-गांव घूम रही हैं, लेकिन इस बार उनकी राह बीते लोकसभा चुनावों की तरह आसान नहीं रहने वाली है।