नई दिल्ली: बहुजन समाज पार्टी प्रमुख और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती के सचिव रह चुके नेतराम के खिलाफ इनकम टैक्स ने कार्रवाई की। मंगलवार को नेतराम के लखनऊ और दिल्ली स्थित 12 ठिकानों पर आईटी की रेड पड़ी है। मायावती के पूर्व प्रमुख सचिव पर 100 करोड़ से ज्यादा फंड का हेरफेर करने का आरोप है। विभिन्न मीडिया रिपोर्ट में यह कयास भी लग रहे थे कि पूर्व IAS अधिकारी नेतराम इस बार बीएसपी के टिकट से लोकसभा चुनाव लड़ने की तैयारी भी कर रहे थे।

जानकारी के मुताबिक पूर्व आईएएस नेतराम मायावती के मुख्यमंत्री (2007-12) रहते हुए उनके बेहद करीबी थे। तब वह तत्कालीन मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव हुआ करते थे। एनडीटीवी ने आईटी ऑफिस स्थित अपने एक सूत्र के हवाले से बताया कि नेतराम ने 100 करोड़ से अधिक रुपये की धोखाधड़ी और टैक्स चोरी की है। कथित टैक्स चोरी का पता लगाने के लिए छापे मारे जा रहे हैं। छापेमारी सुबह शुरू हुई और देर शाम तक चलने की उम्मीद है। गौरतलब है कि जनवरी की शुरुआत से ही मायावती के खिलाफ ईडी ने शिकंजा कसना शुरू कर दिया था। मायावती के शासनकाल में बनी हाथियों और महान दलित हस्तियों की मू्र्तियों के खर्च का ब्यौरा भी ईडी खंगाल रही है। हालांकि, इस संबंध में मायावती और उनके सहयोगी अखिलेश यादव बीजेपी पर एजेंसियों के गलत इस्तेमाल का आरोप भी लगाया।

उत्तर प्रदेश में बीएसपी प्रमुख मायावती और समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव साथ-साथ लोकसभा चुनाव लड़ रहे हैं। माना जा रहा है कि उनके गठबंधन का असर लोकसभा चुनाव में काफी हद तक देखने को मिलेगा। समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव अक्सर बीजेपी की सोशल मीडिया पर आलोचना करते रहे हैं। हाल ही में बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने भी सोशल मीडिया (ट्विटर) का रुख किया है और लगातार मोदी सरकार की नीतियों को निशाने पर ले रही हैं।