नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के लोगों पर जहरीली शराब का कहर इस प्रकार टूटा है कि मौत का आंकड़ा थमने का नाम ही नहीं ले रहा है। मृतकों की संख्या 100 से ऊपर पहुंच गई है। सहारनपुर में 46, रुड़की में 32, कुशीनगर 10 मेरठ में 23 लोगों की मौत हो चुकी है। दोनों राज्य सरकार अब ताबड़तोड़ कार्रवाई में लगी हुई हैं।

उत्तर प्रदेश में 297 मामले दर्ज कर अब तक 175 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। आबकारी विभाग के अनुसार, सहारनपुर में लगभग 10 पुलिसकर्मियों को निलंबित कर दिया गया है। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मामले में सख्त कार्रवाई का आदेश दिया है। सरकार जहरीली शराब बनाने और बेचने वालों पर राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (NSA) लगाने की तैयारी कर रही है।

लगभग 250 लीटर कच्ची शराब और 60 लीटर अंग्रेजी शराब जो चोरी की गई थी, बरामद की गई है। वहीं उत्तराखंड में 31 शराब कारोबारियों को गिरफ्तार किया गया है। एक अधिकारी ने बताया कि उनके पास से 509 क्वाटर देशी शराब और 91 लीटर कच्ची शराब जब्त की गई है।

उत्तराखंड सरकार ने रुड़की क्षेत्र के आबकारी निरीक्षक सहित आबकारी विभाग के 13 कर्मचारियों को निलंबित कर दिया है। आबकारी विभाग के प्रवर्तन विंग के उच्च अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस भी जारी किया गया है। मजिस्ट्रियल जांच शुरू कर दी गई है।

यूपी में बांदा सहित राज्य के विभिन्न हिस्सों में छापेमारी की गई, जहां से भारी मात्रा में अवैध शराब को जब्त किया गया। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उन लोगों के परिजनों को 2-2 लाख रुपए का मुआवजा देने की घोषणा की, जिनकी मौत शराब पीने के बाद हुई और 50,000 रुपए उन्हें, जिनका इलाज चल रहा है।

दरअसल, उत्तराखंड के हरिद्वार में एक घर में तेरहवीं संस्कार आयोजित हुआ था, जिसमें सहारनपुर के कुछ गांवों से लोग गए थे। भोज में लोगों ने शराब पी थी। जहरीली शराब के सेवन से रात में ही लोगों का स्वास्थ्य बिगड़ने लगा था लेकिन रात में मौसम खराब होने की वजह से प्राथमिक उपचार नहीं हो सका जिससे यह दुर्भाग्यपूर्ण घटना हुई।