नई दिल्ली: संसद का शीतकालीन सत्र चल रहा है। जहां हर मंत्रालय को अपनी रिपोर्ट पेश करनी होती है। केंद्रीय कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद संसद में कहा कि जिला और निचली अदालतों में 2.91 करोड़ से ज्यादा मामले लंबित पड़ेह हैं।

उन्होंने आगे कहा कि जिनमें से 21.9 लाख 10 से अधिक सालों से लंबित हैं। वहीं दूसरी तरफ यूपी, बिहार और महाराष्ट्र जैसे राज्यों में एक दशक से अधिक से मामले लंबित हैं जो कि टॉप लिस्ट में भी शामिल हैं।

सोमवार को केंद्रीय कैबिनेट ने इस संशोधन को मंजूरी दी थी। सरकारी सूत्रों का कहना है कि सुप्रीम कोर्ट के हालिया आदेश के बाद फैसला लिया गया है। शीर्ष अदालत ने कहा कि यूनिक आईडी को सिर्फ क्लायणकारी योजनाओं के लिए ही मांगा जा सकता है।