लखनऊ: तेजी से बदलते वर्तमान भारतीय परिदृश्य में आर्थिक परिस्थितियां भी उतनी ही तेजी से बदल रही हैं जिसके फलस्वरूप भारतीय बाजारों में नौकरियों के स्वरूप भी बदल रहे हैं। देश में रोजगार के बदलते इन्हीं स्वरूपों और इनसे जुड़ी चुनौतियों से अपने विद्यार्थियों को अवगत कराने हेतु एमिटी इंटरनेशनल स्कूल, गोमती नगर में एक कार्यशाला आयोजित की गई।

‘हाऊ इंडियाज चेंजिंग इकाॅनामी इफेक्ट द जाॅब मार्केट’ विषय पर आयोजित इस कार्यशाला में यूनिवर्सिटी आफ लीड्स की साइकोलाॅजिस्ट ऐलेक्स स्नी ने विषय-वस्तु पर प्रकाश डाला। कार्यशाला के दौरान उन्होंने बताया कि इस प्रकार पारम्परिक रोजगार के भारतीय बाजार किस तरह बदले आर्थिक स्थितियों के कारण वर्तमान समय में अपनी प्रासंगिकता बचाये रखने की जद्दोजहद कर रहे हैं जबकि रोजगार का एक बड़ा हिस्सा स्मार्ट कॅरियर से जुडे विकल्पों के साथ जुड़ चुका है।

कार्यशाला में आयोजित सत्रों में भारत के विश्व के सबसे तेजी से विकसित होने वाली आर्थिक शक्ति होने और बाजारों में रोजगार सृजन, नवीन कौशलों की कमी से जूझता बाजार आदि विषयांे पर विस्तार से चर्चा हुईं इस दौरान क्रिमिनलोलाॅजी, एनिमेशन, स्पोट्र्स, लैग्वेजेज एवं मनोरंजन के क्षेत्रों में सृजित होने वाले रोजगारों की संभावनाओं पर विचार-विमर्श भी किया गया।

कार्यशाला के दौरान एमिटी स्कूल की प्रधानाचार्या रचना मिश्रा ने बदलते आर्थिक परिदृश्य और समझने की आवश्यकता पर जोर देते हुए इसके संदर्भ में भविष्य के रोजगारों पर विचार करने के बात कही।